वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

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चाड में अगस्त 2022 में भारी बारिश से प्रभावित एक इलाक़े की आकाशीय तस्वीर.
IOM/Anne Schaefer

चाड: अभूतपूर्व वर्षा से 3.4 लाख लोग प्रभावित

संयुक्त राष्ट्र के मानवीय सहायता कार्यों की समन्वय एजेंसी – OCHA ने शुक्रवार को जारी एक रिपोर्ट में कहा है कि चाड में भारी बारिश ने अभूतपूर्ण बाढ़ उत्पन्न कर दी है, जिससे 55 हज़ार परिवारों में रहने वाले लगभग 3 लाख 40 हज़ार लोग प्रभावित हुए हैं. इस संख्या ने वर्ष 2021 के दौरान भी इसी तरह की बाढ़ से प्रभावित लोगों की ढाई लाख की संख्या को पीछे छोड़ दिया है.

श्रीलंका में आर्थिक संकट ने, बहुत से परिवारों के लिये, दैनिक ज़रूरतों की पूर्ति भी बहुत मुश्किल बना दी है.
© UNICEF/Chameera Laknath

श्रीलंका: बच्चों के लिये विनाशकारी संकट, दक्षिण एशिया के लिये एक चेतावनी

दक्षिण एशिया के लिये यूनीसेफ़ के क्षेत्रीय निदेशक जियॉर्ज लैरयी-ऐडजेई ने शुक्रवार को ध्यान दिलाते हुए कहा है कि श्रीलंका में मुख्य भोजन आहार, लोगों की ख़रीद शक्ति से बाहर हो गए हैं, जबकि संकट ग्रस्त देश श्रीलंका में, पहले ही गम्भीर कुपोषण की दर क्षेत्र में सबसे ऊँची थी.

संयुक्त राष्ट्र का विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) और मानवीय सहायता कार्यों की समन्वय एजेंसी OCHA, यूक्रेन में व्यापक पैमाने पर लोगों को सहायता मुहैया करा रहे हैं.
© WFP/Viktor Pesenti

यूक्रेन: सम्पर्क रेखा के इर्दगिर्द पहुँच की गारण्टी की अपील

यूक्रेन में संयुक्त राष्ट्र की शीर्ष सहायता अधिकारी डेनीज़ ब्राउन ने बीते सप्ताह के दौरान सघन गोलाबारी का शिकार हुए पूर्वोत्तर शहर – ख़ारकीयेव से, शुक्रवार को रूस व उसके साझीदार बलों से, पूरी सम्पर्क रेखा वाले इलाक़ों में अत्यन्त ज़रूरी मानवीय सहायता सामग्री की आपूर्ति करने की अनुमति की गारण्टी दिये जाने की एक आपात अपील जारी की है.

इथियोपिया के उत्तरी इलाक़े टीगरे में विस्थापित एक परिवार को, विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) की सहायता
WFP/Claire Nevill

इथियोपिया: टीगरे में WFP की बड़ी ईंधन डकैती, सहायता अभियान अवरुद्ध

संयुक्त राष्ट्र की खाद्य सहायता एजेंसी – WFP ने कहा है कि इथियोपिया के टीगरे क्षेत्र में, उसके लगभग पाँच लाख टन ईंधन की डकैती हो जाने के बाद, भुखमरी का सामना कर रहे लाखों लोगों की मदद करने के अभियान जारी रखना असम्भव होगा.

मध्य पूर्व शान्ति प्रक्रिया के लिये संयुक्त राष्ट्र के विशेष समन्वयक टोर वैनेसलैण्ड, मध्य पूर्व की स्थिति पर सुरक्षा परिषद की बैठक को सम्बोधित करते हुए, जिसमें फ़लस्तीन का सवाल भी शामिल था.
UN Photo/Loey Felipe

'इसराइली-फ़लस्तीनी संघर्ष का प्रबन्धन, सार्थक राजनैतिक प्रक्रिया का विकल्प नहीं'

मध्य पूर्व शान्ति प्रक्रिया के लिये संयुक्त राष्ट्र के विशेष समन्वयक टोर वैनेसलैण्ड ने गुरूवार को सुरक्षा परिषद में कहा कि फ़लस्तीनियों व इसराइलियों के बीच संघर्ष का प्रबन्ध करना, एक वास्तविक राजनैतिक प्रक्रिया का विकल्प नहीं हो सकता, और इस सच्चाई को हाल की कुछ घटनाओं ने एक बार फिर उजाकर कर दिया है.

भारत के ओडीसा प्रदेश में, कोविड-19 की वैक्सीन का टीका लगाए जाते हुए.
© UNICEF/Priyanka Parashar

कोविड-19: 2022 में 10 लाख मौतों का 'त्रासद पड़ाव'

विश्व स्वास्थ्य संगठन – WHO के मुखिया डॉक्टर टैड्रॉस ऐडहेनॉम घेबरेयेसेस ने गुरूवार को कहा है कि कोविड-19 महामारी से वर्ष 2022 के दौरान अब तक दस लाख लोगों की मौत हो चुकी है – जोकि एक त्रासद पड़ाव है और इसमें से, इस त्रासदी में से, ज़्यादा से ज़्यादा लोगों को इसकी वैक्सीन का टीका लगाने का रास्ता निकलना चाहिये.

यौन हिंसा से बची रोहिंग्या शरणार्थी महिलाएं उन 800,000 से अधिक रोहिंग्याओं में सबसे अधिक हाशिए पर हैं, जिन्हें अगस्त के बाद से म्यांमार से बांग्लादेश भेज दिया गया था.
यूनिसेफ/ब्रायन सोकोली

रोहिंज्या संकट के पाँच साल: अन्तराष्ट्रीय समुदाय से पीड़ितों के लिये एकजुटता से काम जारी रखने की अपील

संघर्षों की स्थितियों में यौन हिंसा पर यूएन प्रमुख की विशेष प्रतिनिधि प्रमिला पैटन ने रोहिंज्या संकट के पाँच वर्ष पूरे होने के अवसर पर अन्तराष्ट्रीय समुदाय से रोहिंज्या लोगों के साथ एकजुटता जारी रखने का आहवान किया है. उन्होंने साथ ही यौन हिंसा के पीड़ितों के लिये न्याय व जवाबदेही से सम्बन्धित प्रयासों का दायरा बढ़ाने का आग्रह भी किया है.

म्याँमार के लिये, यूएन प्रमुख की विशेष दूत नोएलीन हेयज़ेर, बांग्लादेश के एक शरणार्थी शिविर में, एक शिक्षा केन्द्र का दौरा करते हुए.
Office of the Special Envoy on Myanmar

'रोहिंज्या संकट को भुलाकर नहीं छोड़ा जा सकता'

म्याँमार के लिये संयुक्त राष्ट्र की विशेष दूत नोएलीन हेयज़ेर ने, रोहिंज्या लोगों के दर्दनाक पलायन के पाँच वर्ष होने के मौक़े पर उनकी तकलीफ़ों की तरफ़ ध्यान आकर्षित करने के लिये, बांग्लादेश की अपनी चार दिन की यात्रा के दौरान कहा है कि, “हम इसे एक भुला दिया गया संकट बनकर नहीं रहने दे सकते हैं.”

बांग्लादेश में एक शरणार्थी शिविर में, रोहिंज्या बच्चे, एक अस्थाई शिक्षा केन्द्र में, मनोरंजक गतिविधियों व मनोवैज्ञानिक समर्थन के लिये एकत्र होते हुए.
© UNICEF/Rashad Wajahat Lateef

रोहिंज्या लोगों के विशाल विस्थापन को रोकने के लिये, वृहद समाधान की दरकार

म्याँमार में वर्ष 2017 के दौरान सेना के हिंसक व क्रूर दमन से जान बचाकर भागे और बांग्लादेश में पनाह लेने पहुँचे लगभग 7 लाख रोहिंज्या शरणार्थियों की व्यथा को, गुरूवार को पाँच साल हो गए हैं. यूएन प्रमुख ने इस अवसर पर अन्तरराष्ट्रीय समुदाय से, रोहिंज्या लोगों की तकलीफ़ों को दूर करने में मदद के लिये, वृहद, टिकाऊ और समावेशी समाधान तलाश करने का आहवान किया है.

एक दस वर्षीय लड़की अपने परिवार को FGM/C प्रैक्टिशनर के रूप में प्रशिक्षित करने की योजना का पता चलने के बाद घर से भाग गई। वह अब पोर्ट लोको, सिएरा लियोन में यूनिसेफ के एक सुरक्षित घर में रहती है और स्कूल जा रही है.
यूनिसेफ/ओलिवियर एसेलिन

FGM: सियेरा लियोन - महिला जननांग विकृति एक यातना - दण्डमुक्ति पर रोक की पुकार

संयुक्त राष्ट्र के स्वतंत्र मानवाधिकार विशेषज्ञों ने सियेरा लियोन में महिला जननांग विकृति (FGM) को रोकने और दोषियों को दण्डित करने के लिए कड़े क़दम उठाने का आहवान किया है.