वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

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फ़लस्तीनी क्षेत्र - पश्चिमी तट में रामल्लाह के निकट एक इसराइली अवरोधक दीवार के निकट से गुज़रते हुए कुछ महिलाएँ.
IRIN/Shabtai Gold

वर्ष 2022 में, इसराइल-फ़लस्तीन के बीच हिंसक घटनाओं में आई तेज़ी

मध्य पूर्व के लिये संयुक्त राष्ट्र दूत टोर वैनेसलैंड ने सोमवार को सुरक्षा परिषद को बताया कि वर्ष 2022 में अब तक पश्चिमी तट और इसराइल में 150 से अधिक फ़लस्तीनी और 20 से अधिक इसराइली मारे गए हैं. पिछले कई वर्षों में यह सबसे अधिक मृतक संख्या है.

तोते मुख्यत: उष्णकटिबंधीय और उप-उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में पाए जाते हैं.
Unsplash/Roberto Nickson

यूएन सम्मेलन: 30 फ़ीसदी वैश्विक जैवविविधता के सरंक्षण के लिये ‘ऐतिहासिक समझौता’

कैनेडा के माँट्रियाल में संयुक्त राष्ट्र जैवविविधता सम्मेलन (कॉप15) के समापन पर एक महत्वपूर्ण समझौते पर सहमति बनी है, जोकि इस दशक के अन्त तक विश्व में 30 प्रतिशत भूमि, तटीय इलाक़ों और अन्तर्देशीय जलक्षेत्र के संरक्षण पर लक्षित है.

समुद्र में फँसे लोगो में रोहिंज्या समुदाय के लोग भी हैं.
UNHCR/Christophe Archambault

श्रीलंका : समुद्री मार्ग में फँसे, 100 से अधिक रोहिंज्या शरणार्थियों को बचाया गया

संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी - UNHCR ने, पिछले सप्ताहांत श्रीलंका की नौसेना और स्थानीय मछुआरों द्वारा, जोखिमपूर्ण हालात में फँसी एक नाव से रोहिंज्या शरणार्थियों को बचाने और उन्हें तट पर सुरक्षित उतारने की कार्रवाई की सराहना की है.

यूएन महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने काला सागर अनाज निर्यात पहल को कूटनीति की एक बड़ी सफलता क़रार दिया है.
UN Photo/Mark Garten

वर्षान्त प्रैस वार्ता में, यूएन प्रमुख ने व्यावहारिक व विश्वसनीय समाधानों की लगाई पुकार

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने सोमवार को यूएन मुख्यालय में पत्रकारों से बातचीत के दौरान, 2023 को शान्ति का वर्ष, कार्रवाई का वर्ष बनाने का संकल्प व्यक्त किया है. उन्होंने इस साल की अपनी अन्तिम पत्रकार वार्ता के दौरान सचेत किया कि विश्व भर में कड़ी चुनौतियों पर पार पाने के लिये व्यावहारिक समाधानों को ढूँढे जाने की आवश्यकता है.

नेपाल के ऊपरी इलाक़े मस्टैंग की नगरपालिका सहित, हिन्दू कुश हिमालय क्षेत्र में पर्वतीय समुदाय, जैव विविधता के नुक़सान, हिमनदों के पिघलने में वृद्धि व पानी की कमी जैसे प्रभावों को महसूस कर रहे हैं.
UN Nepal

हिन्दूकुश हिमालय क्षेत्र में, जलवायु परिवर्तन, आपदा प्रबन्धन में ठोस सहयोग पर लक्षित नई पहल

दक्षिण एशिया के पाँच देशों - भारत, बांग्लादेश, पाकिस्तान, भूटान, नेपाल - में स्थित संयुक्त राष्ट्र कार्यालयों के शीर्ष अधिकारी, हिन्दू कुश हिमालय क्षेत्र में जलवायु परिवर्तन, आपदा प्रतिक्रिया, आपात हालात के लिये तैयारी और आर्थिक व सामाजिक विकास पर क्षेत्रीय सहयोग मज़बूत करने के लिये, एकजुट होकर कार्रवाई कर रहे हैं.

 

हिंसक टकराव, जलवायु परिवर्तन के प्रभाव समेत अन्य संकट लोगों को जोखिमपूर्ण यात्राओं के लिये मजबूर कर रहे हैं.
© IOM/Claudia Rosel

प्रवासी दिवस: बेहतर अवसरों व गरिमामय जीवन के लिये एकजुटता पर बल

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने रविवार, 18 दिसम्बर, को ‘अन्तरराष्ट्रीय प्रवासी दिवस’ के अवसर पर उन करोड़ों प्रवासियों के मानवाधिकारों की रक्षा व उनके लिये गरिमामय जीवन सुनिश्चित किये जाने की पुकार लगाई है, जो अवसरों, स्वतंत्रता और एक बेहतर जीवन की तलाश में अपना घर छोड़कर अन्य देशों का रुख़ करते हैं.    

मैक्सिको के सैंटियागो डी क्वेरेटारो की गलियों में गुड़िया बेचती, मैक्सिको के आदिवासी समूह की एक महिला.
Unsplash/Bernardo Ramonfaur

अन्तरराष्ट्रीय दशक के ज़रिये, आदिवासी भाषाओं को सहेज कर रखने के प्रयास

संयुक्त राष्ट्र ने शुक्रवार को ‘आदिवासी भाषाओं के अन्तरराष्ट्रीय दशक’ की शुरुआत की है, जिसके ज़रिये इन भाषाओं को लुप्त होने से बचाने के प्रयासों को बढ़ावा दिया जाएगा.

बांग्लादेश के कॉक्सेस बाज़ार में, रोहिंज्या शरणार्थियों के लिये, टेकनॉफ़ में बनाया गया एक उप शिविर.
UN in Bangladesh / Shabbir Rahman

विश्व के विशालतम शरणार्थी शिविर में, मुश्किलों से जूझते विकलांगजन

बांग्लादेश के कॉक्सेस बाज़ार में रोहिंज्या शरणार्थियों की एक बड़ी आबादी बसती है, जहाँ विश्व का सबसे बड़ा शरणार्थी शिविर है. इनमें से लगभग 12 प्रतिशत शरणार्थी विकलांगजन हैं, मगर यह आँकड़ा इससे कहीं अधिक होने की आशंका है. पहाड़ी और कीचड़ भरा इलाक़ा होने के कारण, विकलांगजन व बुज़ुर्गों को यहाँ आवाजाही में विशेष रूप से परेशानी का सामना करना पड़ता है. एक वीडियो रिपोर्ट...

अफ़ग़ानिस्तान के ज़िन्दाजान ज़िले के एक गाँव में एक महिला, एक गलियारे से गुज़रते हुए.
© UNICEF/Shehzad Noorani

अफ़ग़ानिस्तान: सार्वजनिक रूप से कोड़े मारे जाने और मौत की सज़ा पर रोक लगाने का आग्रह

संयुक्त राष्ट्र के स्वतंत्र मानवाधिकार विशेषज्ञों के एक समूह ने शुक्रवार को तालेबान नेतृत्व से आग्रह किया है कि अफ़ग़ानिस्तान में सार्वजनिक रूप से कोड़े बरसाए जाने और मौत की सज़ा को फिर से शुरू किये जाने पर तत्काल रोक लगाई जानी होगी.

क़तर में एक निर्माण स्थल पर प्रवासी कामगार.
© ILO/Apex Image

प्रवासी कामगारों के मानवाधिकारों की रक्षा सुनिश्चित किये जाने पर बल

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार उच्चायुक्त कार्यालय (OHCHR), ने ‘अन्तरराष्ट्रीय प्रवासी दिवस’ से ठीक पहले शुक्रवार को प्रकाशित अपनी एक नई रिपोर्ट में देशों से प्रवासी कामगारों के मानवाधिकारों की रक्षा के लिये और अधिक प्रयासों की पुकार लगाई है.