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अफ़ग़ानिस्तान के काबुल में सड़क निर्माण कार्य में जुटे श्रमिक.
Worldbank/Abbas Farzami

'मज़बूत नेतृत्व व ठोस नीतियों' से करोड़ों का रोज़गार बचाना संभव

अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन ने कोविड-19 के कारण वैश्विक अर्थव्यवस्था पर मंडराते संकट के बादलों के बीच रोज़गार बचाए रखने के लिए अनेक उपाय सुझाए हैं. यूएन एजेंसी ने कहा है कि अगर सरकारों ने जल्द क़दम उठाए तो कार्यस्थलों पर कर्मचारियों का ख़याल रखने, अर्थव्यवस्था को स्फूर्ति प्रदान करने और लाखों-करोड़ों लोगों का रोज़गार बचाना संभव हो सकेगा. 

यह ध्यान रखना ज़रूरी है कि बच्चों को तनाव की अवस्था में ना छोड़ा जाए.
© UNICEF/Meng Cui

कोविड-19: बाल मन में पनपी बेचैनियों को शांत करने के उपाय

दुनिया के 150 से ज़्यादा देशों में कोविड-19 के मामलों की पुष्टि होने से लोगों में भय, बेचैनी और अनिश्चितता का माहौल है और इस भावना से बच्चे भी अनछुए नहीं है. संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (UNICEF) ने इस कठिन समय में बच्चों के मन में चल रही उथल-पुथल को समझने का प्रयास किया है. साथ ही अभिभावकों को बच्चों के साथ खुले  व सौम्य ढंग से बातचीत कर उनकी जिज्ञासाओं को शांत करने के लिए भी प्रोत्साहित किया है. 

भारत के छत्तीसगढ़ राज्य में छात्र अपने हाथ धो रहे हैं. हाथ स्वच्छ रखने से संक्रमण से बचने में ठोस मदद मिल सकती है.
©UNICEF/Altaf Ahmad

कोविड-19: भारत में सामुदायिक फैलाव की रोकथाम को प्राथमिकता

भारत में कोविड-19 पर क़ाबू पाने के लिए संक्रमितों की जल्द शिनाख़्त कर उन्हें अलगाव में रखने, उनके संपर्क में आए लोगों का पता लगाने व सामुदायिक फैलाव को सीमित रखने के प्रयासों को प्राथमिकता दी जा रही है. भारत में 17 मार्च तक कोविड-19 के संक्रमण के कुल 137 मामलों की पुष्टि हुई जिनमें 113 भारतीय नागरिक और 24 विदेशी नागरिक हैं. इनमें से 14 लोग संक्रमण से उबर चुके हैं जबकि तीन लोगों की मौत हुई है. 

 

चीन में यूएनडीपी में काम करने वाली एक इंटर्न शुआंगनान वू. उन्हें कोविड-19 का संक्रमण होने के संदेह में अस्पताल में भर्ती कराया गया. अत्यंत सावधानी बरतने की सलाह दी गई है
UNDP China

कोविड-19 के बारे में बहुत सारी बातें

कोविड -19 को महामारी परिभाषित किया गया है और विश्व स्तर पर इस बीमारी का सामना करने के लिए असाधारण प्रयास किए जा रहे हैं. ऐसे में बहुत से सवाल, भ्रांतियाँ, अफ़वाहें भी देखे जा रहे हैं. ऐसे ही कुछ प्रासंगिक सवालों के जवाब देती ये वीडियो देखें - सांकेतिक भाषा में...

दारेसलाम में कोविड-19 के संक्रमण से बचने के विशिष्ट उपाय लागू किए गए हैं. विश्वव्यापी स्तर पर सावधानी बरतने की सलाह दी गई है और भ्रांतियों व अफ़वाहों से बचना भी ज़रूरी है.
UN News/ Stella Vuzo

कोविड-19: तथ्य और भ्रान्तियाँ, ऐहतियाती उपाय

कोरोनावायरस यानि कोविड-19 ने दुनिया भर में हड़कंप मचा दिया है. निसंदेह इस वायरस का संक्रमण बीमारी का कारण बन सकता है मगर इसका मुक़ाबला करने में लोग अक्सर भ्रांतियों व अफ़वाहों के भी शिकार हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि सही समझ, जागरूकता, एकजुटता व चिकित्सा सलाह का पालन करके इस विश्व स्वास्थ्य चुनौती का मुक़ाबला असरदार तरीक़े से किया जा सकता है. कुछ इसी तरह के सवाल-जवाब और तथ्यों व भ्रांतियों में अंतर यहाँ प्रस्तुत है...

इटली के रोम में ऐतिहासिक कोलोसियम पर ‘आई स्टे एट होम’ का संदेश दर्शाया गया है.
Elly Barrett

कोविड-19: योरोपीय जीवन में अभूतपूर्व बदलाव, निडर कार्रवाई का आहवान

विश्व स्वास्थ्य संगठन में योरोपीय क्षेत्र के लिए निदेशक डॉक्टर हैन्स हेनरी क्लुगे ने कहा है कि कोविड-19 का संक्रमण के फैलने से लाखों-करोड़ों लोग जीवन में भारी बदलाव का सामना कर रहे हैं लेकिन आपसी एकजुटता से इस चुनौती को हराया भी जा सकता है. विश्व भर में कोरोनावायरस संक्रमण के एक तिहाई से ज़्यादा मामले अब योरोपीय देशों से हैं और इटली, फ़्रांस, जर्मनी व स्पेन सहित अन्य देश ख़ास तौर पर प्रभावित हुए हैं. 

विश्व खाद्य कार्यक्रम की टीम ज़रूरी मेडिकल सामान को बीजिंग पहुंचाने के काम में जुटी है.
Photo courtesy of Yingshi Zhang

कोविड-19: चीन के अनुभव से सीखने होंगे सबक 

ऐसे समय जब दुनिया के कई देशों, विशेषकर योरोप में, संक्रमितों व मृतकों की संख्या तेज़ी से बढ़ रही है, पहले इस बीमारी के केंद्र रहे चीन में कोविड-19 के नए मामलों में गिरावट देखी गई है.  विश्व स्वास्थ्य संगठन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यूएन न्यूज़ के साथ एक विशेष बातचीत में कहा है कि वायरस पर क़ाबू पाने में चीन के अनुभव से वे सभी देश सबक सीख सकते हैं जो फ़िलहाल इस विश्वव्यापी महामारी के संकट से जूझ रहे हैं.

सहायता कर्मी सीरिया के एक विकलांग हुए शरणार्थी की मदद करते हुए. डायबटीज़ के कारण उसकी टाँग जाती रही. कोविड-19 से बचाव में भी विकलांगों को विशेष सहायता की ज़रूरत है.
Jodi Hilton/IRIN

कोविड-19: विकलांग व्यक्तियों पर विशेष ध्यान देने की ज़रूरत

विकलांग व्यक्तियों के अधिकारों पर संयुक्त राष्ट्र की विशेष रैपोर्टेयर कैटालीना डेवन्डस ने आगाह करते हुए कहा है कि बहुत से विकलांग व्यक्ति बहुत नाज़ुक परिस्थितियों का सामना करते हुए जीवन जीते हैं, फिर भी कोविड-19 विश्व महामारी से बचने के उपायों के तहत अभी विकलांग व्यक्तियों को समुचित व पर्याप्त दिशा-निर्देश व सहायता उपलब्ध नहीं कराए गए हैं.

दक्षिण-पूर्व क्षेत्र में स्थित कुल 11 में से आठ देशों में कोविड-19 के मामलों की पुष्टि हो चुकी है.
Unsplash/Aalok Atreya

कोविड-19: दक्षिण-पूर्व एशिया में तेज़ कार्रवाई का आग्रह

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि दक्षिण-पूर्व एशिया के देशों को कोविड-19 से होने वाले संक्रमणों पर क़ाबू पाने के लिए जल्द से जल्द और बहुत तेज़ रफ़्तार से प्रयास करने और उनका दायरा बढ़ाए जाने की ज़रूरत है. इस क्षेत्र के देशों में अब तक संक्रमितों की संख्या 480 से ज़्यादा हो गई है और आठ लोगों की मौत हो चुकी है. सभी संदिग्ध मामलों की जांच किए जाने को बेहद अहम बताया गया है.

ज़रूरतमंदों की देखभाल करने वाले स्वास्थ्यकर्मियों के स्वास्थ्य का भी ध्यान रखा जाना होगा.
UN Photo/Loey Felipe

कोविड-19: संकट काल में मानसिक स्वास्थ्य का ख़याल ज़रूरी

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जनवरी 2020 में नॉवल कोरोनावायरस (कोविड-19) को ‘अंतरराष्ट्रीय चिंता वाली सार्वजनिक स्वास्थ्य एमरजेंसी’ घोषित किया और फिर मार्च में इसे विश्वव्यापी महामारी के रूप में परिभाषित किया गया. लगातार फैलती बीमारी से दुनिया के माथे पर तनाव की लकीरें गहरी हुई हैं जिसका लोगों के मानसिक स्वास्थ्य पर भी असर पड़ रहा है. यूएन स्वास्थ्य एजेंसी ने मानसिक स्वास्थ्य की रक्षा की अहमियत को समझते हुए दिशा-निर्देश तैयार किए हैं.