वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

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नवीनतम समाचार

सूडान युद्ध में लाखों लोग विस्थापित हुए हैं और लाखों लोगों को देश के बाहर भी जाना पड़ा है.
© UNHCR/Tiksa Negeri

दारफ़ूर संकट: 5 प्रमुख तथ्य

सूडान में अप्रैल 2023 में भड़के युद्ध के कारण "एक बिगड़ती मानवीय आपदा और एक विनाशकारी मानवाधिकार संकट परस्पर मिल" गए हैं, जिससे दारफ़ूर क्षेत्र पर बुरा असर पड़ा है, जोकि बहुत अशान्त क्षेत्र बन चुका है. इस संकट के बारे में 5 अहम तथ्य... (वीडियो). 

महासभा अध्यक्ष, डेनिस फ़्रांसिस, यूएन में भारत की स्थाई प्रतिनिधि, रुचिरा काम्बोज के साथ, यूनेस्को धरोहर स्थल पर.
UN India/Vishal Bhatnagar

यूएन महासभा अध्यक्ष डेनिस फ़्रांसिस की भारत यात्रा की झलकियाँ

यूएन महासभा अध्यक्ष, डेनिस फ़्रांसिस ने अपनी पाँच दिवसीय भारत यात्रा के दौरान कई स्थानों का दौरा किया व द्विपक्षीय वार्ताओं के अलावा, अनेक कार्यक्रमों में भाग लिया. (वीडियो झलकियाँ)

अफ़ग़ानिस्तान में आए भूकम्पों से ऐसे 68 हज़ार घर-परिवार प्रभावित हुए, जिनकी मुखिया महिला थीं.
UNDP Afghanistan

अफ़ग़ानिस्तान: अस्थाई आश्रय स्थलों से भूकम्प प्रभावितों को बंधी आस

कुछ महीने पहले अफ़ग़ानिस्तान के हेरात प्रान्त में आए भूकम्प से उजड़े 200 से अधिक परिवारों को संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम (UNDP) द्वारा निर्मित मज़बूत अस्थाई आश्रय स्थलों में शरण मिली है, जिससे कड़ाके की सर्दी में उन्हें गुज़र-बसर कर पाने में मदद मिली है. मिलिए सुहेला से जो इन्हीं भूकम्प प्रभावितों में से हैं और जिनके लिए यह सहायता मायने रखती है. (वीडियो)

द हेग स्थित अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) में, दक्षिण अफ़्रीका द्वारा ग़ाज़ा में इसराइल द्वारा जनसंहार किए जाने के आरोपों पर मुक़दमे की सुनवाई.
ICJ-CIJ/ Frank van Beek

ICJ आदेश में, ग़ाज़ा में जनसंहारक कृत्यों को रोकने का आहवान

अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) ने शुक्रवार को घोषणा की है कि फ़लस्तीनी लोगों को जनसंहार के कृत्यों से सुरक्षा का अधिकार प्राप्त है और न्यायालय ने इसराइल से इस तरह कृत्यों को रोकने के लिए, "उसकी शक्ति के अन्तर्गत तमाम उपाय करने का आहवान किया है". न्यायालय ने साथ ही युद्ध से तबाह ग़ाज़ा पट्टी में मानवीय सहायता की आपूर्ति की अनुमति भी देने का आहवान किया है, जिसकी अत्यधिक ज़रूरत है.

मध्य पूर्व संकट और फ़लस्तीनी प्रश्न पर चर्चा के लिए, सुरक्षा परिषद की बैठक (23 जनवरी 2024).
UN Photo

मध्य पूर्व संकट: इसराइली नेतृत्व द्वारा दो-राष्ट्र समाधान को रद्द किया जाना 'अस्वीकार्य'

मध्य पूर्व संकट पर, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की एक और अहम बैठक मंगलवार को अपरान्ह दो बजे शुरू हुई है जिसमें दुनिया के शीर्ष राजनयिक ग़ाज़ा पट्टी और वृहद मध्य पूर्व क्षेत्र में गहराते संकट पर चर्चा करेंगे. यह बैठक ऐसे समय में हुई है जबकि ग़ाज़ा में इसराइल का सैन्य आक्रमण बिना रुके लगातार जारी है जिसमें मृतक संख्या बढ़ती जा रही है. दुनिया भर से,तत्काल युद्धविराम लागू किए जाने की पुकारें भी उठ रही हैं. यूएन महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने इस बैठक को सम्बोधित करते हुए एक बार फिर कहा है कि इसराइल और फ़लस्तीन के रूप में दो राष्ट्रों की स्थापना ही, एक मात्र समाधान है.

इस बैठक की कवरेज यहाँ देखी जा सकती है.

क्यूबा के तत्कालीन प्रधानमंंत्री फ़िदेल कास्त्रो, 26 सितम्बर 1960 को, यूएन महासभा के 15वें संत्र को सम्बोधित करते हुए. इस चित्र में फ़िदेल कास्त्रो अपने नोट्स को फाड़कर फेंकते हुए.
UN Photo/Yutaka Nagata

यूएन इतिहास के झरोखे से: संयुक्त राष्ट्र में क्यूबा का सबसे लम्बा 'संक्षिप्त' भाषण

संयुक्त राष्ट्र महासभा में दिए गए अभी तक के सबसे लम्बे भाषण की अवधि कितनी थी.

न्यूयॉर्क में 2023 संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार पुरस्कार प्राप्त करने के बाद एक चित्र में, नागरिक समाज संगठन के वैश्विक गठबंधन के कुछ सदस्य.
OFMCap/Benedict Ayodi

मानवाधिकार पुरस्कार विजेता: स्वस्थ पर्यावरण के अधिकार के लिए वैश्विक गठबन्धन

"स्वच्छस्वस्थ और टिकाऊ पर्यावरण के अधिकार की सार्वभौमिक मान्यता" के लिए नागरिक समाज संगठनोंआदिवासी लोगोंसामाजिक आन्दोलनों और स्थानीय समुदायों के वैश्विक गठन्धन में, 75 देशों के 1,350 से अधिक संगठन और अन्य संस्थाएँ शामिल हैं. गठन्धन ने स्वच्छस्वस्थ और टिकाऊ पर्यावरण के अधिकार की ऐतिहासिक मान्यता प्राप्त करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. मानवाधिकार परिषद ने 8 अक्टूबर 2021 को 48/13 प्रस्ताव के तहत इस अधिकार को मान्यता दीजिसके बाद 28 जुलाई 2022 को महासभा प्रस्ताव 76/300 अपनाया गया. गठन्धन 2023 के मानवाधिकार पुरस्कार विजेताओं में से एक है. एक वीडियो.

अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ), नैदरलैंड की राजधानी द हेग में पीस पैलेस (शान्ति भवन) में स्थित है.
UN Photo

अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) के बारे में 5 अहम तथ्य

अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) की स्थापना, देशों के बीच विवाद निपटाने के एक तरीक़े के रूप में, 1945 में नैदरलैंड के हेग शहर स्थित, पीस पैलेस में की गई थी. अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय, संयुक्त राष्ट्र के अन्य अधिकृत निकायों द्वारा निर्दिष्ट क़ानूनी प्रश्नों पर भी अपनी राय देता है. व्यापक रूप से 'विश्व न्यायालय' के रूप में जाना जाने वाला, ICJ, संयुक्त राष्ट्र के छह "प्रमुख अंगों" में से एक है, और उसका ओहदा महासभा, सुरक्षा परिषद, आर्थिक एवं सामाजिक परिषद (ECOSOC), ट्रस्टीशिप परिषद और सचिवालय के बराबर ही है. संयुक्त राष्ट्र का यह एकमात्र ऐसा अंग है, जो न्यूयॉर्क मुख्यालय में स्थित नहीं है. (वीडियो)

द हेग स्थित अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) में, दक्षिण अफ़्रीका द्वारा ग़ाज़ा में इसराइल द्वारा जनसंहार किए जाने के आरोपों पर मुक़दमे की सुनवाई.
ICJ-CIJ/ Frank van Beek

ग़ाज़ा: ICJ में, दक्षिण अफ़्रीका ने इसराइल पर लगाए 'जनसंहार को अंजाम देने' के आरोप

दक्षिण अफ़्रीका ने, फ़लस्तीनी क्षेत्र ग़ाज़ा में बड़े पैमाने पर आम लोगों की हत्याओं को रोकने के लिए, गुरूवार को संयुक्त राष्ट्र की सर्वोच्च अदालत – ICJ को सम्बोधित किया है. दक्षिण अफ़्रीका के इस मुक़दमे में, इसराइल पर फ़लस्तीनियों के ख़िलाफ़ जनसंहार करने का आरोप लगाया गया है. इसराइल ने इस आरोप को "आधारहीन" बताकर, इसका ज़ोरदार खंडन किया है.

शान्ति स्थल के सामने, यूएन ध्वज फहराता हुआ. द हेग स्थित यह स्थल, अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) का मुख्यालय है.
UN Photo

अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) के वजूद और महत्व पर एक नज़र

दक्षिण अफ़्रीका द्वारा इसराइल पर ग़ाज़ा में जनसंहार कन्वेंशन के तहत दायित्वों का उल्लंघन करने के आरोपों के साथ, अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) का रुख़ करने के फ़ैसले ने, इस यूएन संस्था को फिर से अन्तरराष्ट्रीय प्रमुखता दे दी है. यह अन्तरराष्ट्रीय न्यायालय क्या है और किस तरह कार्य करता है, प्रस्तुत है इसकी विस्तृत जानकारी.