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यूक्रेन युद्ध ने, लाखों लोगों को देश के भीतर, और लाखों अन्य को विदेशों में विस्थापित कर दिया है.
© UNOCHA/Matteo Minasi

यूक्रेन: युद्ध का दूसरा साल, 1.8 करोड़ लोगों को मदद की ज़रूरत

संयुक्त राष्ट्र ने शुक्रवार को कहा है कि यूक्रेन में रूसी आक्रमण शुरू होने एक वर्ष बाद, देश की लगभग आधी आबादी, यानि क़रीब एक करोड़ 80 लाख लोगों को मानवीय सहायता और संरक्षण की आवश्यकता है.

यूक्रेन युद्ध के एक वर्ष पूरा होने पर, देश की शान्ति व सुरक्षा के मुद्दे पर सुरक्षा परिषद में बैठक.
UN Photo/Eskinder Debebe

यूएन सुरक्षा परिषद में यूक्रेन युद्ध का अन्त किए जाने की गूंज

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने शुक्रवार को सुरक्षा परिषद को सम्बोधित करते हुए यूक्रेन में शान्ति की आवश्यकता को रेखांकित किया है और अनेक मोर्चों पर तत्काल कार्रवाई की पुकार लगाई है. 24 फ़रवरी को यूक्रेन पर रूसी सैन्य बलों के आक्रमण का एक वर्ष पूरा हो रहा है. अब तक इस युद्ध में 20 हज़ार से अधिक लोग हताहत हुए हैं और यूक्रेन की लगभग 40 फ़ीसदी आबादी मानवीय सहायता पर निर्भर है.

यूक्रेन में युद्ध के दौरान इमारतों के विध्वंस से, एक पर्यावरण संकट भी उत्पन्न हुआ है.
UNOCHA/Serhii Korovayny

यूक्रेन युद्ध: 'दैनिक वास्तविकताओं के मद्देनज़र, इसे संकट कहना मामूली प्रतीत होता है'

यूक्रेन पर रूसी सैन्य बलों के आक्रमण का, शुक्रवार, 24 फ़रवरी 2023 को एक वर्ष पूरा हो रहा है. देश में संयुक्त राष्ट्र की सबसे वरिष्ठ अधिकारी डेनीज़ ब्राउन ने यूएन न्यूज़ को बताया है कि युद्ध शुरू होने के एक वर्ष बाद भी, यूक्रेन की जनता दृढ़ और प्रतिबद्ध है, लेकिन ज़रूरतमन्द लोगों के लिए मानवीय राहत प्रयास जारी रखे जाने की बहुत आवश्यकता है.

यूक्रेन में युद्ध के कारण बड़ी संख्या में बच्चों और उनके परिजनों को चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों का सामना करना पड़ रहा है.
© UNICEF/Aleksey Filippov

यूक्रेन: रूसी आक्रमण का एक वर्ष (वीडियो)

यूक्रेन पर रूसी आक्रमण को, 24 फ़रवरी 2023 को एक वर्ष पूरा हो रहा है. पिछले एक साल में पीड़ा और तबाही गहरी हुई है, और यह स्पष्ट है कि हालात अब भी बद से बदतर हो सकते हैं. (वीडियो)

यूएन मुख्यालय में महात्मा गांधी की अर्ध-प्रतिमा का अनावरण.
UN Photo/Mark Garten

आज की दुनिया में, महात्मा गांधी के न्यासिता सिद्धान्त की प्रासंगिकता

न्यूयॉर्क स्थित संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में गुरूवार को, महात्मा गांधी के न्यासिता सिद्धान्त (Trusteeship) और आज की दुनिया में इसकी प्रासंगिकता पर केन्द्रित एक विचार गोष्ठि का आयोजन किया गया, जिसकी वीडियो कवरेज यहाँ देखी जा सकती है.

अन्तरराष्ट्रीय  मातृभाषा दिवस
Credit: UNESCO

अन्तरराष्ट्रीय मातृ भाषा दिवस: सांस्कृतिक विविधता का जश्न

अन्तरराष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के अवसर पर संयुक्त राष्ट्र चार्टर के सिद्धान्तों पर अमल की सिफारिश की जाती है. इस वर्ष इस दिवस की थीम “बहुभाषी शिक्षा – शिक्षा परिवर्तन के लिए एक अनिवार्यता” – वर्ष 2021 में हुए यूएन शिक्षा परिवर्तन सम्मेलन में की गई सिफ़ारिशों के अनुसार है. भाषा की विविधता और समावेशन को संरक्षित करने सहित, भविष्य की पीढ़ियों के लिए सामूहिक ज़िम्मेदारी को याद रखना होगा. (वीडियो फ़ीचर)

थाईलैंड में कुछ छात्राएँ, अपनी मातृ भाषा में प्रकाशित कुछ किताबों के साथ.
© UNICEF/Arun Roisri

भाषाई समृद्धता का जश्न, मातृ भाषा दिवस पर बहुभाषी शिक्षा को बढ़ावा देने की पुकार

संयुक्त राष्ट्र के अधिकारियों ने मंगलवार को अन्तरराष्ट्रीय मातृ भाषा दिवस पर कहा है कि विषमताओं को ख़त्म करने और सर्वजन के मानवाधिकारों को प्रोत्साहन देने के लिए, बहुभाषी शिक्षा, एक अहम कुंजी है.

श्रीलंका में धान के खेतों में काम करते किसान.
© FAO/Prakash Singh

श्रीलंका - पानी की कमी दूर करने के लिए FAO का डिजिटल मंच

जलवायु परिवर्तन के कारण होने वाली पानी की कमी को दूर करने के लिए, श्रीलंका के किसान, संयुक्त राष्ट्र के खाद्य और कृषि संगठन (FAO) द्वारा विकसित किए गए, डिजिटल मंच का उपयोग कर रहे हैं.

संयुक्त राष्ट्र जनसंख्या कोशष (UNFPA) की 2021 की एक रिपोर्ट के अनुसार, दुनिया भर में, लगभग आधी महिलाएँ अपने शरीरों पर ख़ुद के अधिकारों से वंचित हैं.
© UNICEF/Albert Gonzalez Farran

कामकाज व वंश के आधार पर भेदभाव चिन्ताजनक, समावेश पर बल

विश्व भर में, कामकाज और वंश के आधार पर किए जाने वाले भेदभाव से 26 करोड़ लोग प्रभावित हैं. इनमें बोराकोमिन, दलित, उरु, ओसु, क़िलोओम्बो, रोमानी समेत अन्य समुदाय हैं. ये समुदाय समस्त विश्व आबादी के चार फ़ीसदी से भी कम हैं, जिनमें से अधिकांश, 21 करोड़ दक्षिण एशिया में रहते हैं. एक वीडियो रिपोर्ट...

विश्व के अनेक हिस्सों में निर्धनता व विषमता बढ़ रही है.
© UNICEF/Claudio Versiani

सामाजिक न्याय दिवस: आर्थिक प्रगति के लिए न्यायसंगत नीतियों की दरकार

संयुक्त राष्ट्र उप महासचिव आमिना मोहम्मद ने सोमवार 20 फ़रवरी, को ‘विश्व सामाजिक न्याय के विश्व दिवस’ के अवसर पर अपने सन्देश में ऐसी न्यायोचित, अधिक सन्तुलित नीतियाँ विकसित किए जाने की पुकार लगाई है, जिनसे बदलाव के लिए राजनैतिक समर्थन जुटा पाना सम्भव हो.