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यूक्रेन: देश के भीतर 65 लाख लोग विस्थापित, स्वास्थ्य ढाँचों पर हर दिन औसतन दो हमले

यूक्रेन के कुछ लोग मोल्दोवा सीमा के निकट पहुँचे हुए, जिनके साथ कुछ बच्चे भी हैं.
©UNICEF/Siegfried Modola
यूक्रेन के कुछ लोग मोल्दोवा सीमा के निकट पहुँचे हुए, जिनके साथ कुछ बच्चे भी हैं.

यूक्रेन: देश के भीतर 65 लाख लोग विस्थापित, स्वास्थ्य ढाँचों पर हर दिन औसतन दो हमले

प्रवासी और शरणार्थी

संयुक्त राष्ट्र ने सोमवार को आगाह करते हुए कहा है कि यूक्रेन में अपने घर छोड़ने के लिये विवश होने वाले लोगों की संख्या एक करोड़ से भी ज़्यादा हो गई है, इस बीच रूस की जारी गोलाबारी के बीच, देश के स्वास्थ्य सेवा ढाँचों पर हर दिन, औसतन दो से ज़्यादा हमले हुए हैं.

न्यूयॉर्क स्थित मुख्यालय में यूएन प्रवक्ता स्तेफ़ान दुजैरिक ने कहा, “हम और हमारे साझीदार संगठन, यूक्रेन के पूर्वी, पूर्वोत्तर और दक्षिणी इलाक़ों में, लड़ाई के कारण फँसे आम लोगों की स्थिति पर गम्भीर रूप से चिन्तित हैं. इनमें शेरनीहाइफ़, सूमी, ख़ारकीयेफ़, इज़यूम, दोनेत्स्क, माइकोलाइफ़ और मारियूपोल शहर शामिल हैं.”

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24 फ़रवरी को यूक्रेन पर रूसी आक्रमण शुरू होने के बाद से, एक करोड़ से ज़्यादा लोग, सुरक्षा व बेहतर हालात की तलाश में, अपने घर छोड़ने को मजबूर हुए हैं, ये संख्या देश की कुल आबादी का लगभग एक चौथाई हिस्सा है.

अन्तरराष्ट्रीय प्रवासन एजेंसी (IOM) ने सोमवार को बताया है कि इनमें वो लगभग 65 लाख पुरुष, महिलाएँ और बच्चे भी शामिल हैं जो देश के भीतर ही विस्थापित हुए हैं.

यूएन शरणार्थी एजेंसी – UNHCR के अनुसार कुल संख्या में लगभग 35 लाख लोग भी शामिल हैं जिन्होंने देश की सीमा पार करके, अन्य देशों में शरण ली है.

अन्तरराष्ट्रीय प्रवासन एजेंसी के आँकड़े दिखाते हैं कि विस्थापितों में ज़्यादातर कमज़ोर स्वास्थ्य हालात वाले लोग, गर्भवती व स्तनपान कराने वाली महिलाएँ, वृद्ध जन, विकलांगता वाले लोग, लम्बी बीमारियों से पीड़ित लोग और हिंसा से सीधे तौर पर प्रभावित लोग शामिल हैं.

एजेंसी का कहना है कि इस समय सबसे ज़्यादा जिन चीज़ों की ज़रूरत है उनमें दवाएँ, स्वास्थ्य सेवाएँ और वित्तीय संसाधन शामिल हैं. विस्थापितों में लगभग एक लाख 86 हज़ार लोग, अन्य देशों के नागरिक हैं.

अन्तरराष्ट्रीय प्रवास संगठन के महानिदेशक एंतोनियो वितोरीनो का कहना है कि युद्ध के कारण इनसानी तकलीफ़ों और जबरन विस्थान का दायरा, किसी भी बदतर स्थिति की योजना से भी बदतर है.

उन्होंने कहा कि देश के भीतर ही विस्थापित हुए और वहाँ फँसे लोगों की ज़रूरतों को पूरा करना, इस समय एजेंसी की शीर्ष प्राथमिकता है. एजेंसी की टीमें हज़ारों लोगों तक आवश्यक सामान के साथ पहुँचने की कोशिश कर रही हैं मगर सर्वाधिक प्रभावित इलाक़ों में फँसे लोगों तक पहुँचने के लिये, युद्धक गतिविधियों में विराम की ज़रूरत है.

स्वास्थ्य क्षेत्र भी चपेट में

यूएन प्रवक्ता स्तेफ़ान दुजैरिक के अनुसार, विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कहा है कि यूक्रेन में स्वास्थ्य देखभाल ठिकानों पर रविवार को छह और हमले होने की ख़बरों की पुष्टि की गई है.

प्रवक्ता ने बताया, “20 मार्च तक, विश्व स्वास्थ्य संगठन ने 25 दिनों के दौरान, स्वास्थ्य देखभाल ठिकानों पर 52 हमलों की पुष्टि की है. यूएन स्वास्थ्य एजेंसी ने रेखांकित किया है कि ये संख्या औसतन हर दिन दो हमलों के बराबर है और ज़ोर देकर ये भी कहा कि स्वभाविक रूप से ये अस्वीकार्य है और स्वास्थ्य देखभाल ढाँचे की सदैव सुरक्षित सुनिश्चित की जानी होगी.”

खाद्य आपूर्ति जारी

विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) ने बताया है कि उसने यूक्रेन पर रूसी आक्रमण शुरू होने के बाद से, देश के भीतर संकट से प्रभावित लगभग तीन लाख 30 हज़ार लोगों तक सहायता सामग्री पहुँचाई है.

सहायता कार्यों में सहयोग कर रहे संगठनों के लिये भी खाद्य सामग्री की मात्रा बढ़ाई गई है और ये पिछले कुछ दिनों में बढ़कर 900 मीट्रिक टन तक हो गई है.

यूएन खाद्य एजेंसी ने, रूस के भारी हथियारों से हमलों में बड़े पैमाने पर विध्वंस का सामना करने वाले शहर ख़ारकियेफ़ में भी साझीदार एजेंसियों के माध्यम से, खाद्य सामग्री का वितरण दोगुना कर दिया गया है; और लगभग दो लाख 60 हज़ार लोगों तक, क़रीब 78 मीट्रिक टन खाद्य सामग्री पहुँचाई जा चुकी है.