वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

एक बहुध्रुवीय जगत में, वैश्विक शान्ति व सुरक्षा के लिए नई दूरदृष्टि

न्यूयॉर्क स्थित यूएन मुख्यालय में सदस्य देशों के झंडे.
UN Photo/Rick Bajornas
न्यूयॉर्क स्थित यूएन मुख्यालय में सदस्य देशों के झंडे.

एक बहुध्रुवीय जगत में, वैश्विक शान्ति व सुरक्षा के लिए नई दूरदृष्टि

यूएन मामले

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने गुरूवार को अपना एक नया नीतिपत्र प्रस्तुत किया है, जोकि एक बदलती दुनिया में शान्ति व सुरक्षा को मज़बूती प्रदान करने के लिए आवश्यक एक बहुपक्षीय फ़्रेमवर्क पर केन्द्रित है.

यूएन प्रमुख ने कहा कि शीत युद्ध के बाद की अवधि पूरी हो चुकी है और अब हम एक नई वैश्विक व्यवस्था, एक बहुध्रुवीय विश्व की ओर बढ़ रहे हैं.

महासचिव गुटेरेश ने भूराजनैतिक तनावों, मानवाधिकार हनन के गम्भीर मामलों, सार्वजनिक संस्थाओं में दरकते भरोसे, नए हिंसक टकरावों, आतंकवाद और उभरती टैक्नॉलॉजी का एक हथियार के रूप में इस्तेमाल समेत अन्य वैश्विक चुनौतियों का उल्लेख किया.

Tweet URL

उन्होंने कहा कि परमाणु युद्ध के बढ़ते ख़तरे से असुरक्षा गहरा रही है और बहुपक्षवादी व्यवस्था के लिए सन्देह भी बढ़ रहा है.

यूएन के शीर्षतम अधिकारी द्वारा जारी, The New Agenda for Peace, में विस्तृत सिफ़ारिशों का एक महत्वाकाँक्षी पुलिन्दा पेश किया गया है, जिसके अनुसार दुनिया आपस में गुंथी हुई चुनौतियों का सामना कर रही है.

उन्होंने कहा कि यह नीतिपत्र भरोसे, एकजुटता और सार्वभौमिकता के सिद्धान्तों के इर्दगिर्द बुनाय गया है, जोकि यूएन चार्टर और एक स्थायित्वपूर्ण दुनिया की भी बुनियाद में हैं.

पाँच प्राथमिकताएँ  

शान्ति के लिए यूएन प्रमुख के नए एजेंडा में, प्राथमिकता वाले पाँच क्षेत्रों में ठोस कार्रवाई के लिए 12 प्रस्ताव पेश किए गए हैं.

पहला, यूएन प्रमुख ने वैश्विक स्तर पर हिंसक टकरावों की रोकथाम करने, भूराजनैतिक विभाजनों से निपटने, कूटनीति को प्राथमिकता देने और क्षेत्रीय सुरक्षा तंत्र में निवेश पर बल दिया है.

दूसरा, उन्होंने हिंसा के सभी रूपों से मुक़ाबले के लिए एक नई पद्धति अपनाने की अहमियत को रेखांकित किया है, जिसमें मध्यस्थता, सामाजिक जुड़ाव, मानवाधिकारों के लिए सम्मान और निर्णय-निर्धारण में महिलाओं की अर्थपूर्ण भागेदारी पर बल दिया जाएगा. 

साथ ही, टिकाऊ विकास, जलवायु कार्रवाई और शान्ति के बीच सम्बन्धों को प्राथमिकता दी जानी होगी.

शान्तिरक्षा में बदलाव

तीसरा, मौजूदा दौर के हिंसक टकरावों के अनुरूप शान्तिरक्षा अभियानों में बदलाव लाने पर भी ज़ोर दिया गया है, जिनमें से अनेक संघर्ष जटिल घरेलू, भूराजनैतिक और पार-राष्ट्रीय कारणों से पिछले कई दशकों से अनसुलझे हैं. 

यूएन प्रमुख ने कहा कि शान्तिरक्षा अभियान तब तक सफल नहीं हो सकते, जब ऐसी शान्ति ही ना हो, जिसकी रक्षा की जा सके. ना ही, सुरक्षा परिषद के स्पष्ट व वास्तविक, और राजनैतिक समाधानों पर केन्द्रित मैंडेट के बिना लक्ष्यों को हासिल किया जा सकता है.

नई, उभरती हुई टैक्नॉलॉजी का हथियार के रूप में इस्तेमाल की रोकथाम करना और ज़िम्मेदार नवाचार को बढ़ावा देना, चौथा अहम क्षेत्र है. 

महासचिव ने वैश्विक शासन व्यवस्था की आवश्यकता पर बल दिया है, जोकि कृत्रिम बुद्धिमता, स्वचालित हथियार प्रणाली समेत अन्य नई टैक्नॉलॉजी से उभरने वाले ख़तरों पर केन्द्रित होगी.

सुधार की दरकार

यूएन प्रमुख ने कहा कि उनका पाँचवा प्राथमिकता क्षेत्र, सुरक्षा परिषद, महासभा, यूएन के निरस्त्रीकरण तंत्र, और शान्तिनिर्माण कमीशन में तात्कालिक सुधार सुनिश्चित करना है, ताकि सामूहिक सुरक्षा को बढ़ावा दिया जा सके.  

यूएन प्रमुख ने शिक्षा में रूपान्तरकारी बदलाव लाने और यूएन 2.0 पर भी अन्य नीतिपत्र जारी किए हैं, जोकि शिक्षा प्रणालियों में बेहतरी लाने और यूएन में आधुनिकीकरण पर लक्षित हैं, ताकि टिकाऊ विकास के 2030 एजेंडा की दिशा में तेज़ी से क़दम बढ़ाए जा सकें. 

महासचिव ने कहा कि श्रृंखलावार, इन सभी नीतिपत्रों का उद्देश्य सदस्य देशों के बीच चर्चा को समर्थन प्रदान करना है, जोकि 2024 में भविष्य के लिए शिखर बैठक की तैयारियों में हो रही है.