एक अरब लोग, श्रवण क्षमता हानि के जोखिम में

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कहा है कि कानफोड़ू संगीत और मनोरंजन के अन्य साधनों के उच्च शोर की चपेट में लम्बे समय तक रहने के कारण, दुनिया भर में 12 से 35 वर्ष की उम्र के लगभग एक अरब लोगों की श्रवण क्षमता के लिये जोखिम पैदा हो गया है. संगठन ने गुरूवार, 3 मार्च को विश्व श्रवण दिवस के मौक़े पर इस सम्बन्ध में नया सुरक्षा परामर्श जारी किया.
विश्व श्रवण दिवस पर, विभिन्न तरह के कार्यक्रमों में संगीत सुनने के लिये नए अन्तरराष्ट्रीय मानक जारी किये गए हैं और इस दिवस की थीम है – जीवन की ख़ातिर सुनें, सावधानी से सुनें!
ये नए मानक उन सभी स्थानों के लिये लागू होते हैं जहाँ ऊँची ध्वनि में संगीत बजाया जाता है.
दुनिया भर में लगभग डेढ़ अरब लोग कम श्रवण क्षमता यानि कम सुनाई देने की अवस्था के साथ जीवन जीते हैं. ताज़ा अनुमानों के अनुसार वर्ष 2030 तक ये संख्या दो अरब तक पहुँच सकती है.
विश्व स्वास्थ्य संगठन का अनुमान है कि उपयुक्त सार्वजनिक स्वास्थ्य अपनाकर, श्रवण क्षमता में 50 प्रतिशत तक के नुक़सान को रोका जा सकता है.
यूएन स्वास्थ्य एजेंसी के अनुसार, सुनने की क्षमता को नुक़सान पहुँचाने वाले बहुत से कारण, पहले ही रोके जा सकते हैं जिनमें ऊँची ध्वनियों में लम्बे समय तक रहने जैसे कारणों से बचना भी शामिल है.
विश्व स्वास्थ्य संगठन के, ग़ैर-संचारी रोग विभाग की निदेशिका डॉक्टर बेन्ते मिकल्सन का कहना है, “करोड़ों किशोर व युवजन, असुरक्षित निजी उपकरणों के प्रयोग व रात्रि-क्लबों, होटलों, संगीत समारोहों व खेलकूद कार्यक्रमों भी बेतहाशा ऊँचे दर्जे का संगीत व ध्वनियाँ निकलने के कारण, अपनी श्रवण क्षमता को नुक़सान पहुँचने के जोखिम में हैं.”
उन्होंने कहा, “ये जोखिम ऐसे में और भी बढ़ जाता है जब बहुत से ऑडियो उपकरण, कार्यक्रम स्थल या समारोहों में, सुरक्षित श्रवण विकल्प मुहैया नहीं कराए जाते हैं...”
विश्व स्वास्थ्य संगठन के नए मानकों का उद्देश्य, युवजन को उनकी मनोरंजक गतिविधियों का आनन्द उठाने के साथ-साथ, उनकी श्रवण क्षमता सुरक्षित रखना भी है.
सुरक्षित श्रवण पर वैश्विक मानकों में, छह मुख्य सिफ़ारिशें पेश की गई हैं:
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने आगाह करते हुए कहा है कि उच्च स्तर की ध्वनि से श्रवण क्षमता को होने वाली हानि स्थाई है और उच्च स्तर वाली ध्वनि के माहौल में लगातार रहने के कारण, कानों में लगातार घण्टी बजने की ध्वनि सुनाई देने लगती है.
ऐसे माहौल में लगातार रहने के कारण सुनने की क्षमता को होने वाले नुक़सान को पलटा नहीं जा सकता.
युवजन अपनी श्रवण क्षमता को इस तरह सुरक्षित रखने के लिये ये उपाय कर सकते हैं:
यूएन स्वास्थ्य एजेंसी ने नए वैश्विक मानकों को समर्थन का आहवान करते हुए, तमाम देशों की सरकारों से, श्रवण को सुरक्षित बनाने और श्रवण क्षमता को नुक़सान पहुँचाने वाले जोखिमों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिये, क़ानून लागू करने का आग्रह किया है.
यूएन एजेंसी ने ये सलाह भी दी है कि व्यवहार बदलाव के लिये, सिविल सोसायटी संगठन, माता-पिता व अभिभावक, शिक्षक व अध्यापक, और चिकित्सक जन प्रेरित कर सकते हैं, और युवजन को सुरक्षित श्रवण आदतें विकसित करने के लिये जागरूक बना सकते हैं.