जापान में हेगिबिस तूफ़ान का असर कम, साहस व तैयारी के लिए नेतृत्व की सराहना

जापान में हेगिबिस तूफ़ान जान-माल की भारी तबाही हुई है, ऐसे में संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने जलवायु आपदा से निपटने के प्रयासों में जापानी नेतृत्व की भूमिका की सराहना की है. महासचिव ने साथ ही इस तरह की प्राकृतिक आपदाओं से निपटने में जापान की पहले से ही की गई व्याक तैयारियों का ख़ास उल्लेख किया है.
विश्व मौसम संगठन ने हेगिबिस तूफ़ान को इतना भयावह क़रार दिया है कि ये हाल के बहुत से वर्षों में इतना बड़ा नुक़सान करने वाले तूफ़ानों में से एक है.
इस तूफ़ान में बहुत तेज़ हवाएँ-आंधियाँ, भारी रिकॉर्ड बारिश, तबाही वाली लहरें और तटीय व मैदानी क्षेत्रों में बाढ़ आती है.
हेगिबिस ने शनिवार को राजधानी टोकयो के दक्षिणी इलाक़े से होकर ज़मीनी सतह पर दस्तक दी और उत्तर की तरफ़ बढ़ गया.
इस तूफ़ान ने घनी आबादी वाले इलाक़ों में भारी तबाही मचाई है, बुनियादी ढाँचे को भारी नुक़सान पहुँचा है जिसमें कम से कम 25 लोगों की मौत भी हो गई है.
ये समाचार लिखने तक 15 लोग लापता थे.
समझा जाता है कि ज़्यादातर लोग ज़मीन खिसकने और बाढ़ के पानी में बहने से हताहत हुए हैं.
मीडिया ख़बरों के अनुसार हज़ारों सैनिक, अग्निशमन कर्मचारी और अन्य आपात कर्मचारी प्रभावित इलाक़ों में भेजे गए हैं, जो बाढ़ में फँसे लोगों को बचाने की कोशिश करेंगे.
रविवार को इस तूफ़ान की रफ़्तार कुछ धीमी पड़ गई थी और ये अब ज़मीनी सतह से भी हट गया है.
बिजली कंपनियाँ हज़ारों घरों में ठप हो गई बिजली बहाल करने की कोशिश में लगे हैं.
हेगिबिस तूफ़ान के आने से लगभग एक महीना पहले भी जापान में एक अन्य भीषण तूफ़ान फ़क्साई ने भारी तबाही मचाई थी.
उस तूफ़ान से देश के अनेक इलाक़ों में बुनियादी ढाँचे और संपत्ति को भारी नुक़सान पहुँचा था, लाखों मकान ध्वस्त हो गए थे जिनकी अभी मरम्मत होनी बाक़ी है.
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने रविवार को जारी एक वक्तव्य में कहा कि वो हेगिबिस तूफ़ान से जापान में हुए जान-माल के भारी नुक़सान की ख़बरों पर बहुत दुखी हैं.
यूएन प्रमुख ने हताहतों के परिवारों, जापान के नागरिकों और जापान सरकार से अपनी संवेदना व्यक्त की है.
साथ ही उन्होंने घायलों के जल्द से जल्द स्वस्थ होने की कामना भी की है.