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साक्षात्कार

UNMISS

शान्ति स्थापना प्रयासों में, शान्तिरक्षकों का बूंद-बूंद योगदान

दक्षिण सूडान में संयुक्त राष्ट्र मिशन (UNMISS) के तहत, मालाकल में तैनात भारतीय शान्तिरक्षक मेजर रितु मलिक का कहना है कि हिंसक टकराव और असुरक्षा से जूझ रहे देशों में, यूएन शान्तिरक्षक, शान्ति स्थापना के विशाल लक्ष्य को हासिल करने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं.

मेजर रितु मलिक ने बताया कि एक शान्तिरक्षक के रूप में तैनाती के दौरान, उन्होंने थोड़े ही समय में बहुत कुछ सीखा है, और चुनौतियों के बावजूद, विविध पृष्ठभूमियों व देशों से आए शान्तिरक्षकों के साथ, यूएन के झंडे तले सेवाएँ प्रदान करना एक शानदार अनुभव है.

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UN News

संयुक्त राष्ट्र शान्तिरक्षकों की असाधारण सेवा का साहसिक सफ़र

यूएन शान्तिरक्षा अभियानों के 75 वर्ष पूरे होने के अवसर पर शान्तिरक्षकों के बेमिसाल जज़्बे को अभिवादन करते हुए याद किया जा रहा है. शान्तिरक्षक, हमारे जीवन की रक्षा व उसमें बदलाव की ख़ातिर, लगातार मुस्तैद रहते हैं.

भारतीय सेना में गत 9 वर्षों से कार्यरत मेजर प्रशान्त राठी, दक्षिण सूडान में यूएन मिशन (UNMISS) नाईल प्रान्त में तैनात हैं. गत चार वर्षों से मेजर प्रशान्त यूएन मिशन के साथ जुड़े हुए हैं.

29 मई को अन्तरराष्ट्रीय यूएन शान्तिरक्षक दिवस के अवसर पर, मेजर प्रशान्त राठी के साथ, यूएन न्यूज़ की शिवानी काला की एक ख़ास बातचीत...

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© UNHCR/Kiri Atri

चक्रवाती तूफ़ान मोका के बाद, बांग्लादेश में राहत कार्य

शक्तिशाली चक्रवाती तूफ़ान मोका गत रविवार (14 मई) को, तीव्रता के साथ बांग्लादेश और म्याँमार के तटीय इलाक़ों से टकराया. हालाँकि जैसी पहले आशंका जताई गई थी, चक्रवात मोका की ज़मीन पर दस्तक, कॉक्सेस बाज़ार के विशाल शरणार्थी शिविर में नहीं हुई. लेकिन फिर भी भीषण हवाओं के कारण इन स्थानों पर सैकड़ों अस्थाई आश्रय तहस-नहस हो गए. संयुक्त राष्ट्र एजेंसियाँ सप्ताहान्त से ही, बचाव व राहत कार्यों में जुटी हुई हैं और तटीय इलाक़ों से संवेदनशील आबादी को बचाकर, सुरक्षित शरण स्थलों पर पहुँचाया गया है.

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Raghuveer Sharma

‘प्रार्थना करते हैं कि सूडान में हालात, जल्द ही सामान्य हो जाएँ’

सूडान में शीर्ष सैन्य नेतृत्व के बीच जारी घातक सत्ता संघर्ष से देश में गम्भीर स्थिति बनी हुई है. ऐसे में बहुत से देशों ने सूडान से अपने नागरिकों को बाहर निकालने के अभियान चलाए हैं, जिनमें भारत का 'कावेरी अभियान' भी शामिल है. इस अभियान के तहत साढ़े तीन हज़ार से ज़्यादा भारतीय नागरिकों को सूडान से सुरक्षित बाहर निकालकर, भारत वापिस पहुँचाया गया है. इन्हीं भारतीय नागरिकों में से एक हैं - राजस्थान के रघुवीर शर्मा, जिन्होंने हमारी सहयोगी, अxशु शर्मा के साथ एक बातचीत में, सूडान के भयावह हालात का आँखों देखा हाल सुनाया... (ऑडियो)

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