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UNRWA की कार्य तटस्थता प्रक्रिया की जाँच के लिए, समीक्षा समूह का गठन

ग़ाज़ा में युद्ध से विस्थापित लोग, एक अस्थाई आश्रय स्थल के पास, खाद्य सामग्री के वितरण की प्रतीक्षा करते हुए.
© UNRWA/Ashraf Amra
ग़ाज़ा में युद्ध से विस्थापित लोग, एक अस्थाई आश्रय स्थल के पास, खाद्य सामग्री के वितरण की प्रतीक्षा करते हुए.

UNRWA की कार्य तटस्थता प्रक्रिया की जाँच के लिए, समीक्षा समूह का गठन

मानवीय सहायता

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने यह आकलन करने के लिए एक स्वतंत्र समीक्षा समूह का गठन किया है कि फ़लस्तीनी शरणार्थियों के लिए यूएन सहायता एजेंसी – UNRWA, अपनी कार्य तटस्थता सुनिश्चित करने के लिए, अपनी शक्तियों के भीतर सभी कुछ कर रही है या नहीं.

यूएन प्रमुख के सोमवार को जारी एक वक्तव्य में कहा गया है कि उन्होंने ये क़दम, यूएनआरडब्ल्यूए के कमिश्नर-जनरल फ़िलिपे लज़ारिनी के साथ परामर्श से उठाया है. 

इस आकलन में ये भी पड़ताल की जाएगी कि एजेंसी में, किसी तरह के गम्भीर आरोप सामने आने के बाद, उनके सम्बन्ध में कार्रवाई करने की क्या व्यवस्था मौजूद है.

इस समीक्षा समूह का नेतृत्व फ्रांस की पूर्व विदेश मंत्री कैथरीन कोलोना करेंगी, जो तीन शोध संगठनों के साथ मिलकर काम करेंगी. 

इन संगठनों के नाम हैं - स्वीडन का राउल वॉलनबर्ग संस्थान, नॉर्वे का मिशेलसेन संस्थान और डेनिश मानवाधिकार संस्थान.

यह समीक्षा समूह, 14 फ़रवरी 2024 को अपना काम शुरू करेगा और मार्च 2024 के अन्त में, यूएन महासचिव को एक अन्तरिम रिपोर्ट सौंपेगा. 

इस समीक्षा की अन्तिम रिपोर्ट अप्रैल 2024 के अन्त तक पूरी होने की सम्भावना है. अन्तिम रिपोर्ट सार्वजनिक की जाएगी.

यह समीक्षा समूह, इस वर्ष के शुरू में यूएनआरडब्ल्यूए कमिश्नर-जनरल लज़ारिनी द्वारा किए गए अनुरोध पर गठित किया गया है.

समीक्षा समूह के कार्य बिन्दु

  1. तटस्थता सुनिश्चित करने और सिद्धान्तों का उल्लंघन होने का संकेत देने वाले आरोपों या जानकारी पर कार्रवाई करने के लिए, एजेंसी के पास वर्तमान में मौजूद तंत्र और प्रक्रियाओं की पहचान करना;
  2. यह पड़ताल करना कि उन तंत्रों और प्रक्रियाओं को व्यवहार में कैसे लागू किया गया है या नहीं किया गया है; और एजेंसी जिस विशेष परिचालन, राजनैतिक और सुरक्षा वातावरण में काम करती है, उसे ध्यान में रखते हुए, उन तंत्रों और प्रक्रियाओं को, पूरी क्षमता से लागू करने के लिए हर व्यावहारिक प्रयास किया गया है;
  3. उन तंत्रों और प्रक्रियाओं की पर्याप्तता का आकलन करना और ये पड़ताल करना कि क्या वे, उद्देश्य के लिए उपयुक्त हैं. जिनमें, जोखिमों के प्रबन्धन के सम्बन्ध में और विशेष परिचालन, राजनैतिक और सुरक्षा सन्दर्भ को ध्यान में रखना शामिल है जिसमें एजेंसी अपना काम करती है;
  4. यदि आवश्यक हो तो वर्तमान में मौजूद तंत्रों और प्रक्रियाओं में सुधार और मज़बूती के लिए, या नए और वैकल्पिक तंत्रों और प्रक्रियाओं के निर्माण के लिए सिफ़ारिशें करना, जो उद्देश्य के लिए बेहतर उपयुक्त हों. इस सम्बन्ध में, विशेष परिचालन, राजनैतिक और सुरक्षा सुरक्षा सन्दर्भों का ध्यान रखा जाएगा, जिसमें एजेंसी काम करती है.

यूएन महासचिव ने ध्यान दिलाया है कि ये आरोप ऐसे समय में आए हैं जब मध्य पूर्व क्षेत्र में संयुक्त राष्ट्र का सबसे बड़ा संगठन – UNRWA, ग़ाज़ा पट्टी में, 20 लाख लोगों को जीवन-रक्षक सहायता प्रदान करने के लिए, बेहद चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में काम कर रहा है. 

ये लोग अपनी ज़रूरतों के लिए, दुनिया के सबसे बड़े और सबसे जटिल मानवीय संकटों में से एक में, जीवित रहने के लिए, इस एजेंसी पर निर्भर हैं.

यह स्वतंत्र बाहरी समीक्षा, 7 अक्टूबर के हमास हमलों में, यूएनआरडब्ल्यूए के 12 कर्मियों की कथित संलिप्तता के आरोपों की, संयुक्त राष्ट्र के आन्तरिक जाँच सेवा कार्यालय (OIOS) की जाँच के अलावा होगी. 

यूएन प्रमुख ने कहा कि इस जाँच के सफल होने के लिए, इसराइल के अधिकारियों का सहयोग अति महत्वपूर्ण होगा, जिन्होंने ये आरोप लगाए हैं.