वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

डिजिटल खाई को पाटने की पुकार, विशाल अवसरों पर भी ज़ोर

यमन में एक महिला, फ़ोन और कम्प्यूटर मरम्मत की एक दुकान पर काम करते हुए.
© ILO/Ahmad Al-Basha/Gabreez
यमन में एक महिला, फ़ोन और कम्प्यूटर मरम्मत की एक दुकान पर काम करते हुए.

डिजिटल खाई को पाटने की पुकार, विशाल अवसरों पर भी ज़ोर

आर्थिक विकास

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने कहा है कि डिजिटल क्रान्ति, टिकाऊ विकास को तेज़ी से आगे बढ़ाने के लिए, विशाल अवसर पेश करती है, मगर अल्पतम विकसित देशों को भी ऑनलाइन सुविधा का लाभ उठाने में सक्षम बनाने के लिए, उनकी और ज़्यादा मदद करने की ज़रूरत है.

यूएन प्रमुख एंतोनियो गुटेरेश ने, गुरूवार, 18 मई को विश्व दूरसंचार और सूचना समाज दिवस के अवसर अपने सन्देश में ये बात कही है.

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एंतोनियो गुटेरेश ने प्रौद्योगिकी सम्बन्धी जोखिमों का सामना करने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया, जिसमें आर्थिक विषमताओं में बढ़ोत्तरी, नफ़रत भरी भाषा (Hate Speech) व दुष्प्रचार के साथ-साथ, कुशल प्रशासन का अभाव और कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) का बे-लगाम विकास किया जाना शामिल हैं.

यूएन प्रमुख ने एक वीडियो सन्देश में कहा कि डिजिटल क्रान्ति, “हमारे दौर की एक परिवर्तनकारी शक्ति है.”

“अवसर बहुत विशाल हैं: शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्रों में बदलाव से लेकर, जलवायु कार्रवाई  और टिकाऊ विकास लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए कार्रवाई को तेज़ करने तक.”

खाई को पाटें

उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि प्रौद्योगिकी को एक ऐसा उपकरण बनना होगा जो खाइयों को कम कर सके, नाकि उन्हें और ज़्यादा गहरा बनाए.

और ऐसे में जबकि इंटरनैट मूल्य सृजन और नवाचार के लिए और अधिक केन्द्रीय महत्व हासिल कर रहा है तो ऐसे में, “सुलभता और समावेशन को विशाल पैमाने पर बेहतर बनाना होगा और डिजिटल अन्तर को ख़त्म करना होगा.”

ये शुरुआत डिजिटल सार्वजनिक भलाई को समर्थन देने के साथ होती है, मसलन सभी को मुक्त स्रोत (Open Source) सॉफ़्टवेयर व इंटरनैट डेटा; और निशुल्क व मुक्त सामग्री की उपलब्धता.

यूएन महासचिव ने कहा, “हमें सार्वजनिक संस्थानों की क्षमता वृद्धि में संसाधन निवेश करने होंगे ताकि उनके पास कृत्रिम बुद्धिमत्ता और अन्य परिवर्तनकारी प्रौद्योगिकियों को समझने, उनकी निगरानी करने, उन्हें आकार देने और उनके साथ सम्पर्क साधने के कौशल व संसाधन मौजूद हों.”

वैश्विक डिजिटल कॉम्पैक्ट

उन्होंने देशों से एक वैश्विक डिजिटल कॉम्पैक्ट के लिए एकजुट होने, व मतभेदों को दूर करने, मानवाधिकारों की रक्षा करने, और ये सुनिश्चित करने का आहवान किया कि प्रौद्योगिकी, सार्वजनिक भलाई की एक शक्ति बने.

यूएन महासचिव ने वर्ष 2030 तक सर्वजन की ख़ातिर वैश्विक कनेक्टिविटी की रफ़्तार तेज़ करने की दिशा में काम करने के लिए, संयुक्त राष्ट्र की विशेषीकृत एजेंसी – अन्तरराष्ट्रीय दूरसंचार संघ (ITU) की सराहना की. ध्यान रहे की टिकाऊ विकास लक्ष्यों की प्राप्ति की भी यही समय सीमा है.

बहुपक्षवाद के लिए AI प्रशासन को प्रोत्साहन

यूएन महासचिव के प्रौद्योगिकी दूत अमनदीप गिल ने भी यूएन न्यूज़ के साथ बातचीत में, इन्हीं विचारों को दोहराया कि जब कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) का मुद्दा आता है तो सटीक प्रशासन को चुनना क्यों तात्कालिक और महत्वपूर्ण है.

अमनदीप गिल ने कहा, “अगर हम बाक़ी दुनिया को ये दिखा सकें कि हम AI के इर्दगिर्द अपनी कार्रवाई को एकजुट रखें, चीज़ों को केवल बन्द नहीं करें, प्रगति को बाधित नहीं करें, बल्कि इसका प्रशासन इस तरह से चलाएँ कि कोई भी पीछे ना छूट जाए.”

उन्होंने कहा कि वैश्विक चुनौतियों की पृष्ठभूमि में अगर ऐसा हो सके तो, ये बहुपक्षवाद की सफलता का एक विशाल सन्देश होगा.