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डिजिटल खाई

© UNICEF/Christine Nesbitt

यूएन न्यूज़ हिन्दी बुलेटिन, 19 मई 2023

इस साप्ताहिक बुलेटिन की सुर्ख़ियाँ...

  • अफ़ग़ानिस्तान में जारी संकट का, बच्चे भुगत रहे हैं ख़ामियाज़ा.
  • म्याँमार सेना के लिए, हथियारों के ‘मृत्यु कारोबार’ का भंडाफोड़.
  • तुर्कीये और सीरिया में आए भूकम्प के 100 दिन बाद भी, लाखों बच्चे गम्भीर स्थिति में.
  • सूडान संकट के दौरान ज़रूरतमन्दों तक सहायता पहुँचाने के लिए तीन अरब डॉलर की अपील.
  • डिजिटल खाई को पाटने की पुकार और विशाल अवसरों पर भी ज़ोर.
ऑडियो
10'27"
यमन में एक महिला, फ़ोन और कम्प्यूटर मरम्मत की एक दुकान पर काम करते हुए.
© ILO/Ahmad Al-Basha/Gabreez

डिजिटल खाई को पाटने की पुकार, विशाल अवसरों पर भी ज़ोर

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने कहा है कि डिजिटल क्रान्ति, टिकाऊ विकास को तेज़ी से आगे बढ़ाने के लिए, विशाल अवसर पेश करती है, मगर अल्पतम विकसित देशों को भी ऑनलाइन सुविधा का लाभ उठाने में सक्षम बनाने के लिए, उनकी और ज़्यादा मदद करने की ज़रूरत है.

यूएन महासभा के हॉल में महासचिव एंतोनियो गुटेरेश के सम्बोधन के दौरान बैठक स्थल का एक दृश्य.
UN Photo/Cia Pak

‘समावेशी, न्यायोचित और शान्तिपूर्ण’ विश्व के लिये, शिक्षा में रूपान्तरकारी बदलाव की दरकार

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने शिक्षा में रूपान्तरकारी बदलाव लाने पर केन्द्रित शिखर बैठक के समापन दिवस पर अपने सम्बोधन में आगाह किया है कि शिक्षा एक गहरे संकट से जूझ रही है, जिससे निपटने के लिये मौजूदा शिक्षा प्रणालियों को 21वीं सदी की आवश्यकताओं के अनुरूप और समावेशी व न्यायसंगत बनाया जाना होगा. 

ट्यूनीशिया में एक महिला अपने कम्प्यूटर पर काम कर रही है.
World Bank/Arne Hoel

इण्टरनेट पर रोक व व्यवधान – मानवाधिकारों, अर्थव्यवस्था व दैनिक जीवन पर असर

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार उच्चायुक्त कार्यालय (OHCHR) अपनी एक नई रिपोर्ट में चेतावनी जारी की है कि इण्टरनेट सेवा पर रोक लगने, उसमें व्यवधान आने से आमजन के जीवन, उनके मानवाधिकारों और अर्थव्यवस्था पर होने वाले असर को अक्सर कम करके आंका जाता है.

संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, महिलाओं व लड़कियों की तुलना में, 17 प्रतिशत ज़्यादा पुरुषों और लड़कों को इण्टरनेट कनेक्शन हासिल हैं.
ITU/R. Farrell

बालिका शक्ति: ताजिकिस्तान से कोस्टा रीका तक, डिजिटल लैंगिक खाई को पाटने के प्रयास

विश्व भर में टैक्नॉलॉजी और इण्टरनेट के इस्तेमाल में लैंगिक खाई बढ़ रही है, मगर सीरिया, कोस्टा रीका समेत कई अन्य देशों में, इस दरार को पाटने के लिये लड़कियाँ पुरज़ोर प्रयास कर रही हैं. कोविड-19 के दौरान डिजिटल प्लैटफ़ॉर्म के इस्तेमाल में आई तेज़ी के बावजूद, मौजूदा लैंगिक वास्तविकताओं को, सोमवार, 11 अक्टूबर, को ‘अन्तरराष्ट्रीय बालिका दिवस’ के अवसर पर रेखांकित किया जा रहा है. 

भारत जैसे देशों में महामारी से निपटने और टिकाऊ व समावेशी पुनर्बहाली के प्रयासों में डिजिटल कनेक्टिविटी अहम  है.
United Nations/Chetan Soni

डिजिटल खाई को पाटते समय अवरोध-रूपी विषमताओं से निपटना ज़रूरी

विश्व भर में डिजिटल टैक्नॉलॉजी का इस्तेमाल अविश्वसनीय गति से बढ़ रहा है – मगर यह समतापूर्ण ढँग से नहीं हो रहा है. यूएन विकास कार्यक्रम में मुख्य डिजिटल अधिकारी रॉबर्ट ऑप्प ने अपने इस लेख में बताया है कि वंचित और निर्बल समुदायों को इण्टरनेट के दायरे में लाने और सार्वभौमिक जुड़ाव को सम्भव बनाने के लिये किन बातों का ख़याल रखा जाना होगा...