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SDG हासिल करने के प्रयासों में स्फूर्ति भरने पर लक्षित यूएन फ़ोरम

आर्थिक एवं सामाजिक परिषद के तत्वाधान में टिकाऊ विकास पर उच्चस्तरीय फ़ोरम का एक विहंगम दृश्य.
UN Photo/Manuel Elias
आर्थिक एवं सामाजिक परिषद के तत्वाधान में टिकाऊ विकास पर उच्चस्तरीय फ़ोरम का एक विहंगम दृश्य.

SDG हासिल करने के प्रयासों में स्फूर्ति भरने पर लक्षित यूएन फ़ोरम

एसडीजी

17 टिकाऊ विकास लक्ष्यों के 2030 एजेंडा को हासिल करने के लिए प्रयासों को फिर से पटरी पर लाने के इरादे से, यूएन आर्थिक एवं सामाजिक परिषद (ECOSOC) में सोमवार को एक उच्चस्तरीय फ़ोरम आरम्भ हुई है, जिसमें शिरकत के लिए सरकार, नागरिक समाज और निजी सैक्टर के प्रतिनिधि जुटे हैं.

टिकाऊ विकास पर केन्द्रित, महत्वाकाँक्षी 2030 एजेंडा पर वर्ष 2015 में सहमति बनी थी, मगर कोविड-19 महामारी और गहराते वैश्विक संकटों के कारण इस दिशा में प्रगति भटक गई है. 

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इस एजेंडा के पारित होने के बाद से, दुनिया भर में बड़े बदलाव हुए हैं. भूराजनैतिक तनावों के बीच वित्त पोषण, ऊर्जा, खाद्य सम्बन्धी चुनौतियाँ बढ़ी हैं और मानवीय संकट और गहरे हुए हैं.

सोमवार को आरम्भ हुई उच्चस्तरीय राजनैतिक फ़ोरम 2030 एजेंडा की प्राप्ति के सफ़र के आधे पड़ाव पर हो रही है.

इस फ़ोरम में वैश्विक पुनर्बहाली की गति में तेज़ी लाने के रास्तों पर ध्यान केन्द्रित किया जाएगा, और यह सितम्बर 2023 में टिकाऊ विकास के मुद्दे पर अहम बैठक की ज़मीन तैयार करेगी. 

यूएन परिषद की अध्यक्ष लाचेज़ारा स्टोएवा ने फ़ोरम के आरम्भिक सत्र को सम्बोधित करते हुए कहा कि यह आयोजन, सितम्बर 2023 में बैठक से पहले राजनैतिक प्रक्रिया को गति प्रदान करने और मुख्य नीति प्राथमिकताओं को पहचानने का अवसर है.

इस फ़ोरम में दो अहम दस्तावेज़ों पर कामकाज होगा: 2030 वैश्विक टिकाऊ विकास रिपोर्ट, और एसडीजी प्रगति पर यूएन महासचिव की रिपोर्ट का विशेष संस्करण.

पाँच लक्ष्यों की समीक्षा

इस फ़ोरम में टिकाऊ विकास के अनेक लक्ष्यों की गहन समीक्षा की जाएगी. इस वर्ष, स्वच्छ जल व साफ़-सफ़ाई (एसडीजी 6), पहुँच के भीतर व स्वच्छ ऊर्जा (एसडीजी 7), उद्योग, नवाचार एवं बुनियादी ढाँचा (एसडीजी 9), टिकाऊ शहर व समुदाय (एसडीजी 11), और लक्ष्यों के लिए साझेदारी (एसडीजी 17) पर ख़ासतौर से चर्चा होगी.

एसडीजी को लागू किए जाने की प्रक्रिया के अलावा, फ़ोरम में प्रतिभागी टिकाऊ विकास को हासिल करने में देशों के समक्ष मौजूद ज़रूरतों और उनकी मदद के रास्तों पर भी विचार-विमर्श करेंगे, विशेष रूप से लघु द्वीपीय विकासशील देश और अफ़्रीकी देश. 

यूएन परिषद की प्रमुख ने कहा कि विचार-विमर्श के दौरान युवजन की आवाज़ को शामिल करने पर भी बल दिया जाएगा. 

“हमें उनकी बुद्धिमता, ऊर्जा और हमारे समक्ष मौजूद चुनौतियों का सामना करने में उनके समर्पण की आवश्यकता है.”

स्वैच्छिक राष्ट्रीय समीक्षा

बताया गया है कि देशों से मिलने वाले ठोस आँकड़ों के अभाव में, टिकाऊ विकास की दिशा में प्रगति को आंकना कठिन है. 

इसके मद्देनज़र, एसडीजी एजेंडा को लागू करने और उसकी समीक्षा में स्वैच्छिक राष्ट्रीय समीक्षा को अहम माना गया है.

इस फ़ोरम के दौरान 39 देश अपनी समीक्षाएँ प्रस्तुत करेंगे, और यह पहली बार होगा जब योरोपीय संघ द्वारा रिपोर्ट प्रस्तुत की जाएगी.

अगले 10 दिन तक चलने वाली इस फ़ोरम में आधिकारिक बैठकों व मुख्य थीम से सम्बन्धित कार्यक्रमों के अलावा, सभी आयामों में 2030 एजेंडा को लागू करने की प्रक्रिया में तेज़ी लाने पर चर्चा होगी.