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फिर कभी भी किसी को भी, जनसंहार के आतंक से नहीं गुज़रना पड़े, गुटेरेश

यूनेस्को का कहना है कि नफ़रत भरी भाषा और सन्देश, दुनिया भर में फैलाव पर हैं.
Unsplash/Jon Tyson
यूनेस्को का कहना है कि नफ़रत भरी भाषा और सन्देश, दुनिया भर में फैलाव पर हैं.

फिर कभी भी किसी को भी, जनसंहार के आतंक से नहीं गुज़रना पड़े, गुटेरेश

क़ानून और अपराध रोकथाम

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए एक नए वैश्विक प्रयास की आवश्यकता है कि "फिर कभी भी" किसी को भी, जनसंहार के आतंक से नहीं गुज़रना पड़े.

यूएन प्रमुख ने शनिवार को जनसंहार के पीड़ितों के लिए अन्तरराष्ट्रीय दिवस के अवसर पर यह बात कही है.

उन्होंने कहा, “अफ़सोस की बात है कि हम अतीत के काले सबक़ भुला देने के ख़तरे में हैं. हम, गहरे विभाजन, अविश्वास और टकरावों की आज की दुनिया में, इस नृशंस अपराध के स्थाई ख़तरे का सामना कर रहे हैं.”

उन्होंने कहा कि यह आवश्यक है कि जिस जनसंहार कन्वेंशन ने 75 साल पहले आज ही के दिन पहली बार, जनसंहार के अपराध को संहिताबद्ध किया था, वो “हमारी दुनिया में एक जीवित शक्ति बनी रहनी चाहिए.”

उन्होंने हम सभी से, उस गम्भीर संकल्प के लिए प्रतिबद्धता क़ायम रखने का आहवान भी किया.

उन्होंने कहा कि 1951 में प्रभावी हुए उस कन्वेंशन में 153 पार्टियों द्वारा किए गए वादे को पूरा करने के लिए, सभी सरकारों को कन्वेंशन की पुष्टि करने और इसे पूरी तरह से लागू करने व यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि अपराधियों को जवाबदेह ठहराया जाए.

संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, "निवारक तंत्र स्थापित करने और मज़बूत करने, नई पीढ़ियों को पिछले जनसंहारों के बारे में शिक्षित करने और ग़लत सूचना व दुष्प्रचार का मुक़ाबला करने के लिए, नए सिरे से वैश्विक प्रयास किए जाने की आवश्यकता है, क्योंकि ये नफ़रत फैलाव और जनसंहार के इरादे व कार्रवाई को बढ़ावा दे सकते हैं."

प्रथम मानवाधिकार सन्धि

ध्यान देने की बात है कि ग़ाज़ा में इसराइल और फ़लस्तीनी चरमपंथियों के बीच मौजूदा युद्ध के सन्दर्भ में, दुनिया भर के समर्थकों सहित तमाम समूहों द्वारा जनसंहार के आरोप लगाए जा रहे है. 

ऐसे में, जनसंहार के इस अपराध के इतिहास और वकील रफ़ाएल लेमकिन के असाधारण कार्य (वीडियो) पर एक नज़र डालें, जिन्होंने जनसंहार के ख़िलाफ़ कन्वेंशन को जीवन्त बनाया. इसे संयुक्त राष्ट्र की प्रथम मानवाधिकार सन्धि माना जाता है.