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धूप, समुद्र और टिकाऊ पर्यटन: बदलती दुनिया से तालमेल बैठाती, इंडोनेशिया की महिला उद्यमी

इण्डोनेशिया की लघु उद्यमियों में से एक, यवौने कुबिस.
M. Gaspar / UNIC Jakarta
इण्डोनेशिया की लघु उद्यमियों में से एक, यवौने कुबिस.

धूप, समुद्र और टिकाऊ पर्यटन: बदलती दुनिया से तालमेल बैठाती, इंडोनेशिया की महिला उद्यमी

आर्थिक विकास

इंडोनेशिया के सुरम्य उत्तर सुलावेसी क्षेत्र में टिकाऊ पर्यटन, महिलाओं के लिये एक व्यावहारिक व्यवसाय विकल्प साबित हो रहा है, और वो यहाँ संयुक्त राष्ट्र द्वारा प्रदान किए जाने वाले कौशल प्रशिक्षण का अधिकतम लाभ उठा रही हैं.

सेलेब्स समुद्र पर सूरज डूबने को है, और इसकी नारंगी चमक क्षितिज को सुनहरे रंग से नहला रही है. ऐसे में, क्षेत्रीय राजधानी मानदो से 25 किलोमीटर पूर्वोत्तर में समुद्र के किनारे बसे, 2400 लोगों की आबादी वाले बूडो में, एक दर्जन पर्यटक इस नज़ारे को देखने के लिये घाट पर एकत्र हैं.

वे इस अभूतपूर्व दृश्य का आनन्द लेते हुए इसकी तस्वीरें खींचते हैं. पास के शहर से आने वाली एक महिला बताती हैं कि स्थानीय लोगों के लिये भी, ज्वालामुखियों पर डूबता सूरज, एक असाधारण दृश्य है.

हालाँकि, कुछ साल पहले तक, मैंग्रोव जंगलों से होता हुआ, गाँव को खुले समुद्र से जोड़ता, 300 मीटर लम्बा यह घाट, लगभग जीर्ण-शीर्ण था और केवल समुद्र में जाने वाले मछुआरे ही इसका उपयोग करते थे.

विलेज एंटरप्राइज़ एसोसिएशन (बीयूएमडीईएस) के अध्यक्ष, हानी लॉरेंस सिंगा बताते हैं कि वह समय अलग ही था: उस समय मछलियों की संख्या अधिक थी, और कोई पर्यटक नहीं थे.

बुडो विलेज फिशिंग घाट, अब पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बन गया है.
B. Csete

इंडोनेशिया के सुदूर पूर्वोत्तर में स्थित उत्तर सुलावेसी के कई तटीय गाँवों की तरह ही बुडो गाँव भी, पारम्परिक रूप से छोटे पैमाने पर मछली पकड़ने पर निर्भर रहा है, लेकिन अत्यधिक मछलीपालन के कारण भंडार कम होता जा रहा है, जिससे आजीविका के लिये, एक नए विकल्प के रूप में अब पर्यटन पर ध्यान केन्द्रित किया जा रहा है.

अन्तरराष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) द्वारा स्थापित एक कार्यक्रम के ज़रिये, बुडो के ग्रामीण समुदाय और चार अन्य गाँवों की स्थानीय महिला उद्यमियों को स्थाई पर्यटन में कौशल प्रदान किया जा रहा है.

सरकार के समर्थन से, घाट की मरम्मत व रंग-रोगन किया गया है, और पर्यटकों की सुविधा के लिये, बेंच व लकड़ी की झोपड़ियाँ बनाई गई हैं. यहाँ आकर, दृश्य का आनन्द लेने के लिये, प्रवेश शुल्क 10 हज़ार रुपैया ($ 0.65) है.

आगन्तुक टिकट काउंटर पर स्थानीय व्यंजन और पेय ख़रीद सकते हैं. ग्राम संघ के उपलब्ध सदस्य ये वंयजन तैयार करके घाट पर पहुँचाते हैं. लॉरेंस सिंगा कहते हैं, "हम काम साझा करते हैं, और आमदनी भी बाँटते हैं - यह मानव स्तर का पर्यटन है."

पुनर्निर्माण के बाद से, लगभग 20 प्रतिशत पर्यटक अब पहले की तुलना में अधिक धन ख़र्च करने लगा है, टिकट काउंटर पर स्थानीय व्यंजनों और पेय पदार्थों के ऑर्डर दिए जाते हैं, कभी-कभी तो पर्यटक रात को भी रुक जाते हैं.

आईएलओ और उसके भागीदारों से समर्थन के कारण, बुडो में पर्यटन से आय में पाँच गुना वृद्धि हुई है और अब पर्यटकों की बड़ी संख्या वहाँ दिखाई देती है. इस साल पर्यटन और रचनात्मक अर्थव्यवस्था मंत्रालय के शीर्ष 50 ग्राम पर्यटन पुरस्कारों में, इस गाँव को डिजिटल मार्केटिंग श्रेणी में पुरस्कार दिया गया.

इन सुधारों के बावजूद, अभी बहुत कुछ किया जाना बाक़ी है. लॉरेंस सिंगा अभी सन्तुष्ट नहीं हुए हैं. उन्होंने ज़ोर देकर कहा, "हमें लोगों को भोजन करने या रात भर रुकने के लिये अधिक प्रोत्साहन देने की आवश्यकता है."

इण्डोनेशिया की सरकार ने मारिन्सॉ में ग्रामीणों को घरों के ऊपर या उनके बगल में लकड़ी की इमारतें मुहैया करवाई हैं.
M. Gaspar / UNIC Jakarta

घरेलू आवभगत, हैशटैग और घर का खाना

बुडो के पूर्व में सड़क यातायात से लगभग एक घंटे की दूरी पर पड़ने वाले मारिंसाँ के निवासियों ने, बिस्तर और नाश्ते के व्यवसाय में एक क्रैश कोर्स किया है, जो उनमें से अनेक के लिये नया अनुभव था.

परियोजना के लिये आईएलओ की मुख्य तकनीकी सलाहकार, मैरी केंट कहती हैं, "हम जिन उद्यमियों के साथ काम करते हैं उनमें से अनेक स्वयं कभी पर्यटक नहीं रहे हैं. इसलिये प्रशिक्षण के बिना, उनके लिये यह जानना मुमकिन नहीं है कि पर्यटकों को उनसे क्या उम्मीद रहेगी."

मरिंसाँ एक खनन क्षेत्र में है, जो इंडोनेशिया के प्राचीन समुद्र तटों से कई किलोमीटर दूर है, इसलिये पर्यटकों के पास पहले वहाँ रुकने की कोई वाजिब वजह नहीं थी. लेकिन, सरकार द्वारा मारिंसाँ को "प्राथमिकता पर्यटन गन्तव्य स्थल" के रूप में मनोनीत किए जाने के बाद से, गाँव को अर्थव्यवस्था में विविधता लाने के उद्देश्य से महत्वपूर्ण वित्तीय प्रोत्साहन मिला है.

50 से अधिक ग्रामीणों को उनके भूखंडों पर बिस्तर और नाश्ता व्यवसाय, या घर अतिथि (Home stay) की व्यवस्था शुरू करने के लिये, लकड़ी के छोटे बंगले दिए गए. अन्तरराष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) Klabat University और Manado State Polytechnic जैसे स्थानीय साझीदारों के साथ, स्थानीय लोगों को एक सफल उद्यमी बनने के लिये, बहीखाता रखने, लागत गणना और विपणन, आतिथ्य व पर्यटन में आवश्यक कौशल प्रशिक्षण देने में मदद कर रहा है.

येनी अलेलो, इण्डोनेशिया के मारिन्सॉ स्थित अपने होमस्टे में.
M. Gaspar / UNIC Jakarta

येनी अलेलो ने बताया, "मुझे यह जानकर बहुत आश्चर्य हुआ कि पर्यटक सफ़ेद चादर और भोजन में विविधता पसन्द करते हैं."

येनी एलेलो और अन्य प्रतिभागियों ने, सोशल मीडिया मार्केटिंग पोस्ट में हैशटैग का उपयोग करने का महत्व सीखा, ताकि वहाँ जगह की तलाश में आने वाले पर्यटक उन्हें आसानी से तलाश कर सकें.

गाँव के मेयर गेब्रियल तामासेंगगे ने कहा, "महिलाओं के छोटे व्यवसायों को माइक्रोफ़ाइनेंस क्रेडिट के माध्यम से वित्तपोषित किया जाता है, और वो समय पर सारा भुगतान कर देती हैं. हमें अपनी महिलाओं पर, उनके छुपे हुए व्यापार कौशल पर बहुत गर्व है, जिसके बारे में हमें पहले मालूम नहीं था."

इन समुदायों को, विपणन और गुणवत्ता नियंत्रण के कौशल में निवेश का लाभ मिल रहा है. पिछले साल मरिंसाँ में रात बिताने वाले कुछ सौ पर्यटकों में से लगभग आधे, प्रान्त के बाहर से आए थे, जिनमें विदेशियों की बढ़ती संख्या भी शामिल थी.

बुडो के लोग, अधिक होमस्टे बनाने और रात भर रुकने को प्रोत्साहन देने की कोशिशों में लगे हैं. एक इसके लिये वो विपणन अभियान बनाकर, बनकेन मरीन पार्क के भीतर स्थित समीप के विश्व स्तरीय डाइविंग स्थलों में आने वाले विदेशी पर्यटकों को सामूहिक पर्यटन स्थलों से चिपके रहने के बजाय, शाम के भोजन के लिये इस विशिष्ट गाँव की यात्रा करने के लिये प्रोत्साहित करने में लगे हैं.

विलेज एंटरप्राइज एसोसिएशन ने खाना पकाने और हस्तकला कक्षाओं के साथ-साथ, मछली पकड़ने को भी पर्यटकों के मनोरंजन की यात्रा में शामिल करने की योजना बनाई है.

लॉरेंस सिंगा कहते हैं, "हमारा काम अब यह सुनिश्चित करना है कि जब ILO और सरकार से वित्त पोषण बन्द होगा, तो हमारे पास एक पूर्ण रूप से गठित व्यवसाय हो, जिससे हम पूरी तरह से अपने पैरों पर खड़े हो सकें. हमारे पास दूरदृष्टि थी, और हमारे पास प्रतिबद्धता है - मुझे विश्वास है कि हम सफल होंगे."

बुडो पर्यटन संघ के सदस्य, पर्यटकों के लिये स्थानीय व्यंजन तैयार कर रहे हैं
M. Gaspar / UNIC Jakarta

समृद्धि के लिए कौशल विकास

  • ग्रामीण पर्यटन परियोजना, समृद्धि के लिये कौशल कार्यक्रम का हिस्सा है, जिसे ब्रिटेन ने वित्त पोषित किया है. इस कार्यक्रम में, इंडोनेशिया सहित तीन दक्षिण पूर्व एशियाई देशों में कौशल विकास के माध्यम से निरन्तर और समावेशी विकास का समर्थन किया जा रहा है. इसका लक्ष्य, लाभार्थियों के लिये रोज़गार, कामकाज व आजीविका के अवसरों में वृद्धि करना है.
  • आईएलओ ने कार्यक्रम को टिकाऊ बनाने के लिये, और चार प्रारम्भिक गाँवों से आगे तक पहुँचने के लिये, स्थानीय प्रशिक्षकों को प्रशिक्षित किया है, जिसमें उच्च शिक्षा संस्थान मनादो स्टेट पॉलिटैक्निक और कलाबत विश्वविद्यालय के कर्मचारियों को भी शामिल किया गया है.
  • परियोजना में साझीदार, ब्रिटेन की यूनिवर्सिटी ऑफ़ ग्लॉस्टरशायर के पर्यटन विशेषज्ञों ने भी इन वितरण संस्थानों की क्षमता निर्माण में योगदान किया है, जिससे समुदाय को उनके मानक पाठ्यक्रम एवं अध्ययन कार्यक्रमों को एकीकृत करने में मदद मिली है.
  • आईएलओ का सभ्य कामकाज कार्यक्रम, सामाजिक संवाद, रोज़गार सृजन और कमज़ोर वर्ग के श्रमिकों की सुरक्षा को बढ़ाने पर केन्द्रित है. यह साथ ही, समुद्र और तटीय समुदायों के टिकाऊ विकास के लिये सरकार के साथ मिलकर, इंडोनेशिया की नेशनल ब्लू एजेंडा ऐक्शन पार्टनरशिप के तहत, संयुक्त राष्ट्र कार्रवाई में भी योगदान करता है.