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डीआर काँगो: दुराचरण के गम्भीर आरोपों में घिरे यूएन शान्तिरक्षक निलम्बित

काँगो लोकतांत्रिक गणराज्य (DRC) के उत्तरी किवू क्षेत्र में यूएन शान्तिरक्षक गश्त पर.
UN Photo/Martine Perret
काँगो लोकतांत्रिक गणराज्य (DRC) के उत्तरी किवू क्षेत्र में यूएन शान्तिरक्षक गश्त पर.

डीआर काँगो: दुराचरण के गम्भीर आरोपों में घिरे यूएन शान्तिरक्षक निलम्बित

यूएन मामले

काँगो लोकतांत्रिक गणराज्य में संयुक्त राष्ट्र मिशन (MONUSCO) ने गम्भीर दुराचरण की रिपोर्टें मिलने के बाद अपने कुछ शान्तिरक्षकों को निलम्बित कर दिया है.

MONUSCO ने बुधवार को जारी अपने एक वक्तव्य में बताया कि यूएन मिशन ऐसे किसी भी व्यवहार की कठोर निन्दा करता है, जोकि यूएन कर्मचारियों से अपेक्षित बर्ताव के अनुरूप नहीं है.

यूएन मिशन ने इस क्रम में फ़िलहाल कोई जानकारी प्रदान नहीं की है, लेकिन अन्तरराष्ट्रीय मीडिया के अनुसार दक्षिण अफ़्रीका के आठ शान्तिरक्षकों को यौन दुर्व्यवहार के आरोपों में हिरासत में लिया गया.

यूएन प्रवक्ता स्तेफ़ान दुजैरिक ने गुरूवार को न्यूयॉर्क में पत्रकारों को जानकारी देते हुए बताया कि ये सभी शान्तिरक्षक, देश के पूर्वी हिस्से में MONUSCO शिविर में तैनात थे.

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यूएन मिशन को जानकारी मिली थी कि ये शान्तिरक्षक, कर्फ़्यू के घंटे बीत जाने के बाद, एक ऐसे शराबघर में उपस्थित थे, जहाँ आपसी लेनदेन में यौन सम्बन्ध भी बनाए जा सकते हैं.

इसके बाद, यूएन मिशन की सैन्य पुलिस और आचरण व अनुशासन टीम के कर्मचारियों ने इन रिपोर्टों की समीक्षा के लिए परिसर का दौरा किया.

यूएन प्रवक्ता ने कहा कि शान्तिरक्षकों के वहाँ मौजूद होने की पुष्टि करने के बाद, उन्हें यूएन आचरण मानकों के उल्लंघन के लिए हिरासत में लेने की कोशिश की गई, मगर वहाँ पहुँची टीम पर शारीरिक हमले किए गए और शान्तिरक्षक दस्ते के सदस्यों ने उन्हें धमकियाँ भी दीं.

“कुछ तथ्यों से संकेत मिला है कि उसी दस्ते के वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों द्वारा आज्ञा व नियंत्रण के प्रयोग में गम्भीर विफलता हुई है.”

शून्य सहिष्णुता नीति

MONUSCO ने बताया कि शान्तिरक्षकों के व्यवहार के बारे में इन रिपोर्टों के मिलने से पहले, यूएन मूल्यों और आचरण मानकों का अनुपालन सुनिश्चित करने के इरादे से सिलसिलेवार क़दम उठाए गए थे.

यूएन मिशन ने यूएन आन्तरिक निरीक्षण सेवा कार्यालय (OIOS) से सम्पर्क साधा है और यौन शोषण, दुर्व्यवहार और अन्य गम्भीर दुराचरण के लिए महासचिव की शून्य सहिष्णुता नीति के अनुरूप ऐहतियाती क़दम उठाए हैं.

इन ऐहतियाती क़दमों में, आरोपों के बारे में विस्तृत जानकारी मिलने और जाँच पूरी होने तक शान्तिरक्षकों को निलम्बित करके हिरासत में रखना है.

बताया गया है कि प्रासंगिक एजेंसियों को इन आरोपों के बारे में सूचित किया गया है, और OIOS कार्यालय के साथ संयुक्त जाँच के लिए राष्ट्रीय अन्वेषण अधिकारी तैनात करने का भी अनुरोध किया गया है.

पीड़ित की शिनाख़्त होने पर, उन्हें यौन शोषण व दुर्व्यवहार के पीड़ितों के समर्थन के लिए यूएन रणनीति के अनुरूप सहायता प्रदान की जाएगी.

दुराचरण से निपटना

यूएन महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने बारम्बार रेखांकित किया है कि यौन शोषण के लिए संयुक्त राष्ट्र में शून्य सहिष्णुता नीति है, और इसकी रोकथाम व उन्मूलन एक शीर्ष प्राथमिकता है. 

यौन शोषण, दुर्व्यवहार समेत दुराचरण के सभी रूपों से निपटने के लिए यूएन के पास तीन-सूत्री रणनीति है, जिसमें रोकथाम उपाय, आचरण के लिए यूएन मानक को लागू करना और कष्ट निवारण के लिए क़दम उठाना है.

वर्ष 2016 में, यूएन ने एक विशेष समन्वयक को नियुक्त किया था, जिनकी ज़िम्मेदारी यौन शोषण व दुर्व्यवहार प्रतिक्रिया उपायों में बेहतरी लाना है. इसके एक वर्ष बाद, पीड़ितों के अधिकारों के लिए एक पैरोकार को भी नियुक्त किया गया था.