वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

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वीडियो हब (VIDEO HUB)
यूएन हिन्दी न्यूज़ की मल्टीमीडिया सामग्री...
 कोविड के ख़िलाफ़ जंग में महिला स्वास्थ्यकर्मियों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया है.
UNICEF/Vinay Panjwani

कोविड-19: समर्पण भाव से सेवारत स्वास्थ्यकर्मियों की सराहना

वैश्विक महामारी कोविड-19 पर जवाबी कार्रवाई में अग्रिम मोर्चे पर डटे स्वास्थ्यकर्मियों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. भारत में यूएन एजेंसियों ने बुधवार, 7 अप्रैल, को ‘विश्व स्वास्थ्य दिवस’ के अवसर पर निस्वार्थ भाव से अपने कार्य में जुटे इन ‘नायकों’ का आभार व्यक्त किया है.   

कुटुपलाँग महाशिविर में 23 मार्च को भीषण आग लगने के बाद प्रभावित इलाक़े में एक बच्चा.
UNICEF/Salman Saeed

रोहिंज्या शरणार्थी शिविर में भीषण आग

बांग्लादेश के कॉक्सेस बाज़ार के कुटुपलाँग शिविर में, 22 मार्च को भीषण आग लगने से, कम से कम 15 लोगों की मौत हुई और 560 से ज़्यादा घायल हुए. महाशिविर में आग लगने से 45 हज़ार से ज़्यादा लोग विस्थापित हुए हैं, जिनमें अधिकतर लोग, पड़ोसी देश म्याँमार से शरण लेने वाले रोहिंज्या शरणार्थी हैं. एक वीडियो रिपोर्ट.

वर्ष 1985 में नस्लीय भेदभाव के उन्मूलन के अन्तरराष्ट्रीय दिवस पर दक्षिण अफ़्रीकी पुलिस द्वारा मारे गए लोगों के ताबूतों को ले जा रहे शोकाकुल लोग.
UN Photo

दक्षिण अफ़्रीका: शार्पविल नरसंहार में जीवित बचे पीड़ितों की आपबीती

21 मार्च, 1960 को, दक्षिण अफ्रीका के शार्पविल में, रंगभेद के ख़िलाफ़ शान्तिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे, 69 प्रदर्शनकारियों को गोलियों से भून दिया गया था. इसीलिये, 21 मार्च का दिन, अब नस्लभेद के उन्मूलन के अन्तरराष्ट्रीय दिवस के रूप में मनाया जाता है. इस नरसंहार में जीवित बचे कुछ पीडितों ने अपनी व्यथा बयान की है. एक वीडियो रिपोर्ट...
 

ब्रिटेन में ब्लैक लाइव्स मैटर रैली के दौरान प्रदर्शनकारी.
Unsplash/Arthur Edelmans

नस्लभेद ख़त्म करने की पुकार

21 मार्च का दिन, नस्लभेद के उन्मूलन के अन्तरराष्ट्रीय दिवस के रूप में मनाया जाता है. युवाओं से, मानवाधिकारों के लिये आवाज़ उठाने की ख़ातिर, संयुक्त राष्ट्र महासचिव की पुकार... (वीडियो सन्देश).

स्मृति ईरानी, भारत सरकार में केन्द्रीय कपड़ा मंत्री और महिला व बाल विकास मंत्री हैं.
UN News

'चाहिये, समान अवसरों व संसाधनों तक पहुँच...'

भारत की केन्द्रीय कपड़ा मन्त्री और महिला व बाल विकास मन्त्री स्मृति ईरानी का कहना है कि भारत की संसद में, देश के इतिहास में सबसे ज़्यादा महिला प्रतिनिधियों का होना गर्व का विषय है, लेकिन आसमान छूना अभी बाक़ी है. उन्होंने कहा कि हम किसी से ख़ैरात नहीं चाहते, हम केवल यह चाहते हैं कि हमें समान अवसर मिलें, और संसाधनों तक समान पहुँच मिले. यूएन न्यूज़ के साथ एक ख़ास बातचीत...

भारत के राजस्थान प्रदेश में, ग्रामीण महिलाओं को नेतृत्व के गुर सिखाती एक कार्यशाला.
UN Women/Ashutosh Negi

महिला नेतृत्व की ज़रूरत

अन्तर-संसदीय संघ यानि आईपीयू की ताज़ा रिपोर्ट में बताया गया था कि दुनिया भर की संसदों में, महिला सांसदों की हिस्सेदारी 25 प्रतिशत से अधिक हो गई है. यह आँकड़ा ऐतिहासिक है, लेकिन संसदों में लैंगिक समानता हासिल करने का लक्ष्य अब भी दूर है. एशिया में, और ख़ासतौर पर भारत में भी, नेतृत्व की भूमिकाओं में महिलाओं की हिस्सेदारी बढ़ी है, लेकिन अभी और अधिक साहसिक क़दम उठाए जाने की ज़रूरत है. संसद में, व नेतृत्व पदों पर महिलाओं के प्रतिनिधित्व के बारे में, भारत में नेतृत्व के तीन स्तरों पर आसीन महिलाओं के विचार प्रस्तुत करता एक वीडियो फ़ीचर...

संयुक्त राष्ट्र की उप महासचिव आमिना जे मोहम्मद (मध्य से दाएँ) पपुआ न्यू गिनी के पोर्ट मोरेस्बी में 8 मार्च को अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौक़े पर निकाले गए एक जुलूस में हिस्सा लेते हुए.
United Nations

महिला दिवस 2021

8 मार्च को अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस पर, लैंगिक असमानता ख़त्म करने और महिलाओं को और ज़्यादा कार्यस्थल मुहैया कराने का आहवान किया गया है. कोविड-19 महामारी का मुक़ाबला करने के प्रयासों में भी महिलाएँ, अग्रिम मोर्चों पर मुस्तैद रही हैं. वीडियो सन्देश...

यूएन महासचिव एंतोनियो गुटेरेश, न्यूयॉर्क के एक वैक्सीन केन्द्र में, कोविड-19 वैक्सीन का दूसरा टीका लगवाते हुए.
UN Photo/Eskinder Debebe

यूएन प्रमुख को लगा दूसरा टीका

संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंतोनियो गुटेरेश ने, शुक्रवार 28 फ़रवरी को, न्यूयॉर्क के एक वैक्सीन केन्द्र में, कोविड-19 का दूसरा टीका लगवाया. उनकी आयु 65 वर्ष से अधिक होने के कारण, दूसरा टीका लगवाने के लिये उनका नाम, प्राथमिकता सूची में आया था. यूएन समर्थित एक पहल के तहत, वर्ष 2021 के अन्त तक, दो अरब लोगों को कोविड-19 के टीके लगवाने का लक्ष्य है.

कॉटे डी आईवॉयर की एक स्वास्थ्यकर्मी को कोविड-19 वैक्सीन की पहली ख़ुराक दी गई. विश्व स्वास्थ्य संगठन के नेतृत्व में कोवैक्स पहल के तहत वहाँ वैक्सीन पहुँचाई गई है.
© UNICEF/Miléquêm Diarassouba

वैक्सीनें कैसे कारगर होती हैं!

वैक्सीन टीके, हमारी रोग प्रतिरोधक प्रणाली को, वायरस की पहचान, पहले से ही करने और उसके ख़िलाफ़ सुरक्षा कवच बनाने में सक्षम बनाते हैं. वैक्सीन टीके, हमें सुरक्षित बनाते हैं और वायरस को फैलने से रोकते हैं. अगर पर्याप्त संख्या में, लोगों को टीके लग जाएँ, तो पूरे समुदाय की सुरक्षा की जा सकती है. देखें ये वीडियो...

वन्यजीवन के दोहन के कारण पशुओं की अनेक प्रजातियों के विलुप्त होने की गति चिन्ताजनक है.
UN Photo/John Isaac

विश्व वन्यजीवों की संरक्षा के लिये प्रयास बढ़ाएँ

संयुक्त राष्ट्र महासचिव, एंतोनियो गुटेरेश ने विश्व वन्यजीव दिवस पर सन्देश में, देशों, कारोबारों और हर जगह के आमजन का आहवान करते हुए कहा है कि वो वनों और वन्य जीव-जन्तुओं की संरक्षा के लिये अपने प्रयास बढ़ाएँ, और वन समुदायों की आवाज़ सुनने व उसे बुलन्द करने में सहयोग दें.