श्रीलंका

श्रीलंका में धान के खेतों में काम करते किसान.
© FAO/Prakash Singh

श्रीलंका - पानी की कमी दूर करने के लिए FAO का डिजिटल मंच

जलवायु परिवर्तन के कारण होने वाली पानी की कमी को दूर करने के लिए, श्रीलंका के किसान, संयुक्त राष्ट्र के खाद्य और कृषि संगठन (FAO) द्वारा विकसित किए गए, डिजिटल मंच का उपयोग कर रहे हैं.

रोहिंज्या लोगों को ले जाने वाली एक नाव अंडमान समुद्र को पार करके, 8 जनवरी को इंडोनेशिया के आचे पहुँचीं जहाँ वो लोग उतर सके.
© UNHCR/Kenzie Eagan

UNHCR: घातक नौका यात्राओं में झलकती है रोहिंज्या लोगों की हताशा

संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी – UNHCR ने मंगलवार को कहा है कि वर्ष 2022 के दौरान रोहिंज्या लोगों द्वारा अंडमान सागर और बंगाल की खाड़ी पार करने के लिए, अपनी जान जोखिम में डालकर की गईं नौका यात्राओं में त्वरित बढ़ोत्तरी, उनकी बढ़ती हताशा को दिखाती है.

श्रीलंका में लगातार दो मौसम में ख़राब कृषि पैदावार होने के कारण खाद्य असुरक्षा का संकट गहरा हुआ है.
© UNICEF/Chameera Laknath

श्रीलंका: 34 लाख ज़रूरतमंदों तक जीवनरक्षक सहायता पहुँचाने के लिये संशोधित अपील

संयुक्त राष्ट्र ने विशाल आर्थिक संकट से गुज़र रहे देश, श्रीलंका के लिये अपनी मानव कल्याण आवश्यकताओं व प्राथमिकताओं के लिये प्रस्तावित योजना में संशोधन करते हुए 34 लाख से अधिक लोगों के लिये जीवनरक्षक सहायता सुनिश्चित किये जाने का अनुरोध किया है.

श्रीलंका के विदेश मंत्री अली साबरी ने यूएन महासभा के 77वें सत्र के दौरान जनरल डिबेट को सम्बोधित किया.
UN Photo/Cia Pak

श्रीलंका: मज़बूत लोकतांत्रिक व्यवस्था व आर्थिक स्थिरता के लिये सुधारों की तैयारी

श्रीलंका के विदेश मंत्री अली साबरी ने यूएन महासभा के 77वें सत्र को सम्बोधित करते हुए कहा है कि देश में सामाजिक अशान्ति व विरोध प्रदर्शनों के लम्बे दौर के बाद, लोकतांत्रिक शासन व्यवस्था व दीर्घकालीन आर्थिक स्थिरता बहाल करने के लिये संस्थागत फ़्रेमवर्क को मज़बूत किया जा रहा है.

श्रीलंका में लोग खाद्य पदार्थों और ईंधन की बढ़ती क़ीमतों और ज़रूरी चीज़ों की भारी क़िल्लत के बीच, अपनी खाद्य और पोषण आवश्यकताएँ पूरी करने में, संघर्ष कर रहे हैं.
© WFP/Josh Estey

श्रीलंका: ख़राब कृषि उत्पादन और बढ़ती क़ीमतों के कारण, खाद्य सुरक्षा पर संकट

खाद्य एवं कृषि संगठन (FAO) और विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) ने सोमवार को प्रकाशित अपनी एक नई रिपोर्ट में आगाह किया है कि श्रीलंका में 63 लाख लोग, मध्यम से गम्भीर स्तर पर खाद्य असुरक्षा का सामना कर रहे हैं. जीवनरक्षक सहायता और आजीविका सम्बन्धी समर्थन के अभाव में हालात के बद से बदतर होने की आशंका व्यक्त की गई है. 

श्रीलंका में गम्भीर आर्थिक संकट के कारण, खाना पकाने, परिवहन और उद्योगों के लिये ईंधन की उपलब्धता पर असर पड़ा है.
World Bank/ Lakshman Nadaraja

श्रीलंका: नई सरकार से जवाबदेही व संस्थागत सुधारों पर आगे बढ़ने का आग्रह

संयुक्त राष्ट्र के मानवाधिकार उच्चायुक्त कार्यालय - OHCHR ने मंगलवार को प्रकाशित एक रिपोर्ट में कहा है कि श्रीलंका एक कठिन मोड़ पर है और नई सरकार को जवाबदेही के साथ-साथ संस्थागत व सुरक्षा क्षेत्र में सुधारों के क्षेत्रों में प्रगति होते हुए दिखानी होगी.

कोलम्बो के कुप्पियावाट्टा में एक सरकारी क्लिनिक में भोजन वाउचर प्राप्त करने के लिये अपनी बारी का इन्तज़ार करती महिलाएँ.
@ WFP/Parvinder Singh

श्रीलंका: आसमान छूती महंगाई से गर्भवती महिलाओं का जीवन अस्त-व्यस्त

श्रीलंका गम्भीर आर्थिक संकट से जूझ रहा है - खाद्य क़ीमतों में 90 प्रतिशत का उछाल आया है और ईंधन की कमी से आजीविका एवं प्रमुख सुरक्षा-जाल कार्यक्रम बाधित हुए हैं, जिससे खाद्य-असुरक्षा के शिकार लोगों की संख्या में वृद्धि हुई है. ख़ासतौर पर, गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं, पाँच साल से कम उम्र के बच्चों और विकलांगों पर इसका सबसे गहरा असर पड़ा है...

श्रीलंका में आर्थिक संकट ने, बहुत से परिवारों के लिये, दैनिक ज़रूरतों की पूर्ति भी बहुत मुश्किल बना दी है.
© UNICEF/Chameera Laknath

श्रीलंका: बच्चों के लिये विनाशकारी संकट, दक्षिण एशिया के लिये एक चेतावनी

दक्षिण एशिया के लिये यूनीसेफ़ के क्षेत्रीय निदेशक जियॉर्ज लैरयी-ऐडजेई ने शुक्रवार को ध्यान दिलाते हुए कहा है कि श्रीलंका में मुख्य भोजन आहार, लोगों की ख़रीद शक्ति से बाहर हो गए हैं, जबकि संकट ग्रस्त देश श्रीलंका में, पहले ही गम्भीर कुपोषण की दर क्षेत्र में सबसे ऊँची थी.

श्रीलंका में इस समय लगभग दो लाख 15 हज़ार महिलाएँ गर्भवती हैं और उनमें से लगभग एक लाख 45 हज़ार महिलाएँ, अगले छह महीनों के दौरान अपने शिशुओं को जन्म देंगी.
© UNFPA Sri Lanka/Ruvin De Silv

श्रीलंका: आर्थिक संकट के कारण, स्वास्थ्य व्यवस्था बिखराव के निकट

श्रीलंका इस समय अपने इतिहास के बदतरीन सामाजिक-आर्थिक संकटों से गुज़र रहा है, और किसी समय विश्वसनीय रही स्वास्थ्य देखभाल व्यवस्था ढह जाने के निकट है, मरीज़ों को बिजली कटौती के जोखिम का सामना करना पड़ रहा है, दवाइयों का अभाव है, और उपकरणों की भी क़िल्लत है.

भारत के 75वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर, 15 अगस्त 2022 को, चार देशों के शरणार्थी भारत का राष्ट्रगान गाते हुए.
UNHCR

भारत के 75वें स्वतंत्रता दिवस पर शरणार्थियों का सुरीला उपहार

भारत के 75वें भारतीय स्वतंत्रता दिवस पर, संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी, UNHCR ने, कई बार ग्रैमी पुरस्कार विजेता रहे, भारतीय संगीतकार और पर्यावरणविद्, रिकी केज के सहयोग से, एक संगीत वीडियो का निर्माण किया, जिसमें 4 राष्ट्रीयताओं के 12 शरणार्थी, भारतीय राष्ट्रगान गा रहे हैं. सभी गायकों ने एक स्वर में कहा, "हम इस 75वें स्वतंत्रता दिवस पर भारत के लोगों को बधाई देते हैं. साथ ही, आपकी दया, प्यार और सहयोग के लिये भारत की जनता एवं सरकार को धन्यवाद देते हैं." वीडियो फ़ीचर...