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खाद्य संरक्षा दिवस: दूषित भोजन से बचने के उपायों पर बल

दूषित खाद्य पदार्थों का सेवन, 200 से अधिक बीमारियों की वजह बन सकता है.
© WHO/Yoshi Shimizu
दूषित खाद्य पदार्थों का सेवन, 200 से अधिक बीमारियों की वजह बन सकता है.

खाद्य संरक्षा दिवस: दूषित भोजन से बचने के उपायों पर बल

स्वास्थ्य

संयुक्त राष्ट्र एजेंसियों ने बुधवार, 7 जून, को ‘विश्व खाद्य संरक्षा दिवस’ के अवसर पर, खाद्य मानकों की अहमियत को रेखांकित करते हुए आगाह किया है कि भोजन-जनित बीमारियाँ विश्व भर में हर वर्ष, हर 10 में से एक व्यक्ति को अपनी चपेट में लेती हैं.

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और खाद्य एवं कृषि संगठन के अनुसार, दूषित भोजन खाने से विश्व भर में हर दिन, लगभग 16 लाख लोग बीमार पड़ते हैं. हर साल चार लाख 20 हज़ार लोगों की मौत होती है.

वर्ष 2023 में, इस दिवस पर भोजन संरक्षा उपायों व मानकों की भूमिका पर ध्यान केन्द्रित किया गया है, जिससे यह सुनिश्चित किया जा सकता है कि हम जो भी चीज़ें खाएँ, वो सुरक्षित हों.

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यूएन स्वास्थ्य एजेंसी की सहायक महानिदेशक डॉक्टर मारिया निएरा ने कहा कि खाद्य संरक्षा का हमारे स्वास्थ्य पर सीधा असर होता है.

कैंसर से लेकर अतिसार तक, 200 से अधिक बीमारियों की वजह, बैक्टीरिया, वायरस, परजीवी और रसायन से दूषित खाद्य पदार्थों का सेवन किया जाना है.

उन्होंने अपने एक वीडियो सन्देश में कहा, “हम खाद्य संरक्षा के बारे में तभी सोचते हैं, जब हम बीमार पड़ते हैं. और हमें इसके बारे में और अधिक सोचना चाहिए, चूँकि भोजन-जनित बीमारियों की पूरी तरह रोकथाम की जा सकती है.”

यूएन विशेषज्ञ के अनुसार, सुरक्षित भोजन खाने से शरीर को पोषक तत्व मिलते हैं और मानव विकास को बढ़ावा मिलता है.

“भोजन करने से किसी की भी मौत नहीं होनी चाहिए. ये ऐसी मौतें हैं, जिन रोकथाम सम्भव है.”

कार्रवाई की पुकार

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने नीतिनिर्धारकों समेत विभिन्न सैक्टर से कार्रवाई का आग्रह किया है, जिसके तहत राष्ट्रीय खाद्य संरक्षा प्रणाली स्थापित किए जाने पर बल दिया गया है, जोकि स्थापित मानकों के अनुरूप होगी.

खाद्य व्यवसायों को अपने कर्मचारियों, आपूर्तिकर्ताओं और अन्य हितधारकों के साथ मिलकर काम करने के लिए प्रोत्साहित किया गया है, ताकि एक खाद्य संरक्षा संस्कृति को विकसित किया जा सके.

इसके समानान्तर, शैक्षणिक संस्थाओं और कार्यस्थलों पर सुरक्षित भोजन की देखरेख को बढ़ावा दिया जाना होगा.

साथ ही, उपभोक्ताओं को भी अपनी भूमिका निभानी होगी और घर पर भोजन की देखरेख के लिए सभी उपायों को अपनाना होगा और यूएन स्वास्थ्य एजेंसी की अनुशंसाओं का पालन करना होगा.

इनमें खाना पकाने से पहले अपने हाथ धोना, और कच्ची खाद्य सामग्री के लिए अलग-अलग बर्तनों व उपकरणों, जैसेकि चाकू, काटने का बोर्ड, का इस्तेमाल करना है.

अहम उपाय

इस बीच, खाद्य एवं कृषि संगठन ने एक नई वैबसाइट तैयार की है, ताकि खाद्य सैक्टर को अन्तरराष्ट्रीय खाद्य स्वच्छता मानकों का पालन करने में सहायता प्रदान की जा सके.

इन उपायों के पुलिन्दे की वैबसाइट ‘टूलबॉक्स’ नाम दिया गया है, जिसका उद्देश्य उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य और खाद्य व्यापार में निष्पक्ष तौर-तरीक़ों को बढ़ावा देना है.

इस क्रम में, विकासशील देशों के छोटे व्यवासियों और किसानों का विशेष रूप से ख़याल रखा गया है और यह वैबसाइट मोबाइल उपकरणों पर भी देखी जा सकती है.

वैबसाइट पर निजी स्वच्छता बरतने पर जानकारी प्रदान की गई है, और आगन्तुकों के खाद्य उत्पादन स्थल पर जाने के लिए ज़रूरी सतर्कता उपायों के प्रति जागरूक बनाने, सही प्रक्रिया समझने, हाथ धोने की आवृत्ति और उपयुक्त कपड़े पहनने समेत अन्य जानकारी मुहैया कराई गई है.

यह तकनीकी सामग्री, यूएन खाद्य संरक्षा अधिकारियों और कैनेडा की गुऐल्फ़ युनिवर्सिटी में भोजन विज्ञान प्रभाग की एक टीम ने मिलकर तैयार की है.