आतंकवाद के विरुद्ध लड़ाई में मानवाधिकारों की रक्षा ज़रूरी: यूएन प्रमुख

संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंतोनियो गुटेरेश ने आगाह करते हुए कहा है कि अगर हम मानवाधिकारों को “नकारना और उनका विनाश” जारी रखेंगे तो, आतंकवाद के ख़िलाफ़ लड़ाई कभी सफल नहीं होगी.
यूएन महासचिव ने न्यूयॉर्क में वैश्विक आतंकवाद निरोधक सहयोग कॉम्पैक्ट (UNGCTCC) की नवीं बैठक में अपनी बात कहते हुए, तमाम आतंकवाद निरोधक नीतियों और कार्यक्रमों को, मानवाधिकारों की रक्षा में मज़बूती से समाहित करने का आग्रह किया.
उन्होंने कहा, “आतंकवाद का मुक़ाबला करने को, कभी भी, लोगों के मानवाधिकारों को कुचलने के लिए, एक बहाने के रूप में प्रयोग नहीं किया जा सकता.”
“जब हम मानवाधिकारों की रक्षा करते हैं, दरअसल हम आतंकवाद के मूल कारणों से निपट रहे होते हैं.”
यूएन प्रमुख ने कहा कि इस कॉम्पैक्ट का कामकाज, इस समय अतीत से कहीं ज़्यादा अहम है.
उन्होंने कहा, “आतंकवाद एक वैश्विक अभिशाप बना हुआ है – जोकि हर स्तर पर मानवता के लिए एक प्रत्यक्ष अपमान है.”
एंतोनियो गुटेरेश ने ऐसे ख़ालीपन से बचने की ज़रूरत को रेखांकित किया, जिसमें आतंकवाद पनप सकता है.
उन्होंने इन हालात को सुरक्षा का ख़ालीपन, राजनैतिक व नागरिक संस्थानों की शून्यता, अवसरों और आशाओं का ख़ालीपन, और मानवाधिकारों के सम्मान, समानता और गरिमा का ख़ालीपन वर्णित किया, विशेष रूप से अल्पसंख्यकों, महिलाओं व लड़कियों के लिए.
यूएन प्रमुख ने प्रस्तावित ‘नवीन शान्ति एजेंडा’ को, ऐसे समाजों के निर्माण के लिए, एक समग्र व वृहद दृष्टिकोण पर केन्द्रित करने की पुकार लगाई, जहाँ आतंकवाद के लिए कोई स्थान ना हो.
इसमें ये अहम तत्व शामिल हैं: रोकथाम - यानि ऐसी आर्थिक व सामाजिक परिस्थितियों पर ध्यान देना, जिनमें से प्रथमतः आतंकवाद का रास्ता निकल सकता हो; समावेश – यानि ये सुनिश्चित करना कि आतंकवाद निरोधक रणनीतियों में व्यापक आवाज़ों, समुदायों और क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व झलके, और मानवाधिकारों व विधि के शासन को, तमाम आतंकवाद निरोधक नीतियों के केन्द्र में रखना.
एंतोनियो गुटेरेश ने प्रोद्योगिकी (Technology) को नियमित करने की समस्या को भी रेखांकित किया, “जहाँ एक बटन को छूने भर से आतंकवाद फैल सकता है.”
इस ख़तरे से निपटने के लिए, समान रूप से ऐसी चुस्त व अनुकूलक कार्रवाई की ज़रूरत है जो आँकड़ों और सबूतों पर आधारित हो.
मगर उन्होंने आगाह भी किया कि “जब आँकड़े एकत्र करने, उनके विश्लेषण और रणनैतिक प्रयोग की बात आती है तो, हम अनेक क़दम पीछे हैं”.
उन्होंने आतंकवाद निरोधक प्रयासों सहित, शान्ति व सुरक्षा निर्माण के लिए हमारे तरीक़ों और दृष्टिकोण के केन्द्र में, आँकड़ों से संचालित उपकरणों और रणनीतियों को रखने का आग्रह किया.
एंतोनियो गुटेरेश के ये विचार, ऐसे समय आए हैं, जब जून 2023 में, यूएन वैश्विक आतंकवाद निरोधक रणनीति की समीक्षा प्रस्तावित है.
यह रणनीति 2018 में शुरू की गई थी, तब से 45 सदस्य और पर्यवेक्षक बन चुके हैं, और इसने सिविल सोसायटी व निजी क्षेत्र के भागीदारों के साथ, सार्थक संवाद भी शुरू किया है.