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डीपीआर कोरिया: बैलिस्टिक मिसाइल दागे जाने से तनाव भड़कने का जोखिम

संयुक्त राष्ट्र में राजनैतिक व शान्तिनिर्माण मामलों के विभाग में सहायक महासचिव ख़ालेद खिएरी.
UN Photo/Rick Bajornas
संयुक्त राष्ट्र में राजनैतिक व शान्तिनिर्माण मामलों के विभाग में सहायक महासचिव ख़ालेद खिएरी.

डीपीआर कोरिया: बैलिस्टिक मिसाइल दागे जाने से तनाव भड़कने का जोखिम

शान्ति और सुरक्षा

संयुक्त राष्ट्र के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कोरिया लोकतांत्रिक गणराज्य (DPRK) द्वारा सोमवार को एक बैलिस्टिक मिसाइल दागे जाने के बाद, सुरक्षा परिषद से आग्रह किया है कि परमाणु हथियारों के उन्मूलन के लिये अन्तरराष्ट्रीय समुदाय को अपने प्रयासों में तेज़ी लानी होगी.

15 सितम्बर 2017 के बाद से यह पहली बार है जब डीपीआरके द्वारा दागी गई मिसाइल ने जापान के वायु क्षेत्र का उल्लंघन किया है. ये मिसाइल, प्रशान्त महासागर में जाकर गिरी, जोकि मुख्य भूमि से काफ़ी दूर था.

राजनैतिक व शान्तिनिर्माण मामलों के विभाग में सहायक महासचिव ख़ालेद ख़ियेरी ने सुरक्षा परिषद में सदस्य देशों को इस घटना के बाद यूएन द्वारा उठाए जा रहे क़दम पर जानकारी दी, और डीपीआरके में मानवीय मानवीय हालात पर भी चिन्ता जताई.

कोरिया लोकतांत्रिक गणराज्य को आम तौर पर उत्तर कोरिया के रूप में जाना जाता है.

लम्बी दूरी की प्रक्षेपास्त्र मिसाइल देश के उत्तर में स्थित जगांग प्रान्त से स्थानीय समयानुसार सोमवार सुबह दागी गई.

समाचारों के अनुसार, मिसाइल ने साढ़े चार हज़ार किलोमीटर की दूरी तय की और यह क़रीब 970 किलोमीटर की ऊँचाई तक पहुँची.

कठोर निन्दा

सहायक महासचिव ख़ियेरी ने सुरक्षा परिषद को ध्यान दिलाया कि महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने भी मिसाइल दागे जाने की कड़े शब्दों में निन्दा की है.

“यह लापरवाही भरा एक कृत्य था, और सुरक्षा परिषद के प्रासंगिक प्रस्तावों का स्पष्ट उल्लंघन है.”

उन्होंने कहा इससे क्षेत्र में और उससे परे भी तनाव बढ़ने की आशंका है. “यह गम्भीर चिन्ता की बात है कि डीपीआरके ने एक बार फिर से अन्तरराष्ट्रीय उड़ान या समुद्री सुरक्षा के प्रति बेपरवाही दिखाई है.”

यूएन के शीर्षतम अधिकारी ने डीपीआरके से तत्काल ऐसे क़दमों से परहेज़ बरतने का आग्रह किया है जिनसे अस्थिरता पनपती हो.

साथ ही, उन्होंने डीपीआरके से कोरिया प्रायद्वीप को परमाणु मुक्त बनाने की दिशा में सम्वाद फिर से शुरू किये जाने की अपील की है.

उत्तर कोरिया (DPRK) की राजधानी पियोंगयांग का एक दृश्य (फ़ाइल फ़ोटो अक्टूबर 2011)
OCHA/David Ohana
उत्तर कोरिया (DPRK) की राजधानी पियोंगयांग का एक दृश्य (फ़ाइल फ़ोटो अक्टूबर 2011)

नया क़ानून, एक चिन्ता

सहायक महासचिव ख़ालेद ख़ियेरी ने कुछ ऐसी अन्य घटनाओं का उल्लेख किया, जिनसे चिन्ता उपजी है. इनमें हाल ही में चार अवसरों पर, कम दूरी की प्रक्षेपास्त्र मिसाइलों की विशेषताओं वाली प्रणालियाँ तैयार किया जाना भी है.

पिछले महीने, अन्तरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) के अनुसार कुछ संकेत दर्शाते हैं कि पुंगग्ये-री परमाणु परीक्षण स्थल सक्रिय है और वहाँ परीक्षण के लिये परिस्थितियाँ तैयार हैं.

यूएन परमाणु एजेंसी ने योंगब्योन परमाणु केन्द्र पर निर्माण गतिविधियों पर नज़र बनाई हुई है, जहाँ से संकेत मिले हैं कि पाँच मेगावॉट का परमाणु रिएक्टर संचालित किया जा रहा है.

इसके अलावा, डीपीरआरके द्वारा परमाणु नीति पर एक नया क़ानून पारित किये जाने पर गहरी चिन्ता व्यक्त की गई है.

सहायक महासचिव ख़िये ने कहा, “कुछ देशों द्वारा अपनी सुरक्षा नीतियों में परमाणु हथियारों पर निर्भरता जारी है, लेकिन परमाणु हथियार मानवता के अस्तित्व के लिये ख़तरा हैं.”

“उनकी निरन्तर मौजूदा बिना किसी मंशा के हालात भड़कने और ग़लत आकलन के जोखिम को बढ़ाती है. हमें परमाणु हथियारों के उन्मूलन के लिये अपने प्रयासों मज़बू करने होंगे.”

राहत प्रयास 

सहायक महासचिव के अनुसार, यूएन प्रमुख डीपीआरके में मानवीय हालात पर चिन्तित हैं.

संयुक्त राष्ट्र प्रणाली, अन्तरराष्ट्रीय व सहायता संगठनों के सहयोग के ज़रिये, देश में कर्मचारी और सहायता भेजने के लिये तैयार है, ताकि मेडिकल और मानव कल्याण आवश्यकताओं को पूरा करने में सरकारी प्रयासों को मदद दी जा सके.

इनमें वैश्विक महामारी कोविड-19 से उपजी चुनौती भी है.

ख़ालेद ख़ियेरी ने कहा, “हम एक सामयिक व कारगर प्रतिक्रिया के लिये, अन्तरराष्ट्रीय स्टाफ़ और मानवीय राहत सामग्री की आपूर्ति के लिये निर्बाध प्रवेश की अपनी अपील को दोहराते हैं.”

उन्होंने कहा कि इस विषय में सुरक्षा परिषद की एकता बेहद अहम है, ताकि तनावों में कमी लाई जा सके, कूटनैतिक गतिरोध पर क़ाबू पाया जा सके और क्रिया-प्रतिक्रिया के नकारात्मक चक्र से बचा जा सके.