टैक्सस हमले के सन्दर्भ में यूनीसेफ़ की पुकार - स्कूलों को बनाना होगा सुरक्षित स्थान
संयुक्त राष्ट्र बाल एजेंसी – UNICEF की प्रमुख कैथरीन रसैल ने बुधवार को कहा है कि सरकारों को ये सुनिश्चित करने के लिये और ज़्यादा कार्रवाई करनी होगी कि स्कूल, लड़कों और लड़कियों के लिये एक सुरक्षित स्थान बने रहें. उनका यह बयान, अमेरिका के टैक्सस प्रान्त में एक घातक स्कूल हमले में कुछ बच्चों व शिक्षकों की मौत के सन्दर्भ में आया है.
मंगलवार को हुए इस हमले में 19 बच्चों और दो शिक्षकों की मौत हो गई. ये हमला 18 वर्षीय बन्दूकधारी सल्वाडोर रमोस ने टैक्सस प्रानात के एक छोटे से शहर उवाल्डे स्थित, रॉब प्राइमरी स्कूल में अन्धाधुन्ध गोलियाँ चलाकर किया. ये शहर मैक्सिको की सीमा के निकटवर्ती इलाक़े में है.
और कितने?
यूनीसेफ़ की कार्यकारी निदेशिका कैथरीन रसैल ने कहा है कि इस वर्ष पहले ही, अफ़ग़ानिस्तान, यूक्रेन, अमेरिका, पश्चिम अफ़्रीका और अन्य अनेक इलाक़ों में स्कूलों पर बहुत दर्दनाक और दिल दहला देने वाले हमले हो चुके हैं.
कैथरीन रसैल ने एक वक्तव्य में कहा, “हादसा दर हादसा, एक के बाद दूसरी गोलीबारी, छोटी उम्र में ज़िन्दगियों का नुक़सान: और कितने बच्चे अपने जान गँवाएंगे, जब सरकारी नेतृत्व कर्ता बच्चों और उनके स्कूलों को सुरक्षित रखने के लिये कार्रवाई करेंगे? क्योंकि जब तक वो ये कार्रवाई नहीं करते हैं, ये दर्दनाक हादसे होते रहेंगे.”
कार्यकारी निदेशिका कैथरीन रसैल ने ज़ोर देकर कहा कि बच्चों के लिये, उनके घरों से बाहर, स्कूल ऐसे स्थान होने चाहिये जहाँ वो सुरक्षित महसूस करें.
उन्होंने ध्यान दिलाया कि ज़िन्दगियों के नुक़सान के अतिरिक्त, जिन बहुत से बच्चों, अध्यापकों और स्कूल स्टाफ़ ने ये रक्तपात देखा है, उन्हें जीवन भर इसके भावनात्मक और मनोवैज्ञानिक ज़ख़्मों के साथ जीना पड़ेगा.
सदमा और शोक
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने इस खुलेआम हत्याकाण्ड पर गहरा शोक और दुख व्यक्त किया है. उन्होंने कहा कि ये देखना कितना हृदय विदारक है कि इस हादसे के शिकार हुए ज़्यादातर बच्चे थे.
यूएन प्रमुख के प्रवक्ता ने मंगलवार को जारी किये गए एक वक्तव्य में कहा कि एंतोनियो गुटेरेश ने शोक सन्तप्त परिवारों और उनके प्रियजन व पूरे समुदाय को अपनी हार्दिक शोक सम्वेदनाएँ भेजी हैं.
यूएन उप प्रमुख आमिना जे मोहम्मद ने भी एक ट्विटर सन्देश के ज़रिये, इस हत्याकाण्ड पर गहन क्षोभ व्यक्त किया है.
उन्होंने लिखा है, “बच्चे जब स्कूल जाते हैं तो उन्हें केवल अपनी शिक्षा में दिलचस्प होनी चाहिये. बच्चों को स्कूलों में अपनी ज़िन्दगियों के लिये ख़तरे का डर नहीं होना चाहिये.”
आमिना जे मोहम्मद ने कहा कि उनकी हार्दिक प्रार्थनाएँ प्रभावित परिवारों, सहपाठियों और अध्यापकों के साथ हैं जो इस हृदय विदारक हानि के शोक में हैं.