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बुर्कीना फ़ासो: हिंसक हमले की तीखी भर्त्सना, जिसमें 80 की मौत

बुर्कीना फ़ासो में, देश के भीतर ही विस्थापित लोगों के लिये बनाए गए एक शिविर का दृश्य.
© UNHCR/Moussa Bougma
बुर्कीना फ़ासो में, देश के भीतर ही विस्थापित लोगों के लिये बनाए गए एक शिविर का दृश्य.

बुर्कीना फ़ासो: हिंसक हमले की तीखी भर्त्सना, जिसमें 80 की मौत

क़ानून और अपराध रोकथाम

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने बुर्कीना फ़ासो के एक उत्तरी क़स्बे अरबिन्दा के निकट एक काफ़िले पर, बुधवार को हुए हमले की कड़ी निन्दा की है. उस हमले में लगभग 80 लोगों के मारे जाने की ख़बरें हैं.

मीडिया ख़बरों के अनुसार, उस सिविल काफ़िले की सुरक्षा निगरानी मिलिटरी पुलिस कर रही थी, जब उस पर इस्लामी लड़ाकों ने हमला किया.

उस हमले में अनेक लोग घायल भी हुए बताए गए हैं.

ख़बरों के अनुसार सरकारी और सैन्य सूत्रों ने बताया कि 59 आम लोग, छह सरकार समर्थक लड़ाके और 15 मिलिटरी पुलिस के लोग मारे गए जबकि सुरक्षा बलों ने कहा कि 80 चरमपंथी भी मारे गए हैं.

ज़िम्मेदारों को न्याय के कटघरे में पहुँचाएँ 

यूएन महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने, अपनी एसोशियेट प्रवक्ता एरी कनेको द्वारा गुरूवार को जारी एक वक्तव्य में कहा कि यूएन प्रमुख ने लिप्ताको-गौरमा इलाक़े में, चरमपंथी गुटों द्वारा की गई इस हिंसा पर गहरी चिन्ता व्यक्त की है. 

यूएन महासचिव ने, साथ ही, बुर्कीना फ़ासो की सरकार से कहा है कि इस हमले के पीछे ज़िम्मेदार तत्वों की पहचान करने और उन्हें तेज़ी से न्याय के कटघरे तक पहुँचाने में कोई क़सर ना छोड़ी जाए.

वक्तव्य में कहा गया है कि यूएन महासचिव ने हताहतों के परिवारों के प्रति सम्वेदना व्यक्त की है और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है.

उन्होंने बुर्कीना फ़ासो की सरकार और वहाँ के लोगों के साथ, संयुक्त राष्ट्र की एकजुटता भी दोहराई है. 

साथ ही, सहेल क्षेत्र के देशों को भी, हिंसक अतिवाद की रोकथाम व उसका मुक़ाबला करने, सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने और टिकाऊ विकास हासिल करने के प्रयासों में, संयुक्त राष्ट्र की एकजुटता का भरोसा दोहराया है.

बढ़ते हमले

ये हमला ऐसे समय किया गया है जब बुर्कीना फ़ासो में, इस्लामी चरमपंथी हमलों में बढ़ोत्तरी देखी गई है.

इन हमलों के कारण रिकॉर्ड संख्या में परिवारों को अपने घर छोड़ने के लिये मजबूर होना पड़ा है.

संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी एजेंसी – (UNHCR) ने जुलाई में ख़बर दी थी कि बुर्कीना फ़ासो के लगभग 11 हज़ार लोगों ने पड़ोसी देश निजेर में आश्रय के लिये पहुँचे थे, जबकि वर्ष 2021 के आरम्भ में, ये संख्या 7400 थी.

अलबत्ता, ये अस्थिरता, अब देश की सीमाओं से भी परे चली गई है. 

संयुक्त राष्ट्र के आतंकवाद निरोधक मामलों के शीर्ष अधिकारी व्लादिमीर वोरोन्कोफ़ ने गुरूवार को आगाह करते हुए कहा था कि तथाकथित ‘इस्लामिक स्टेट इन ग्रेटर सहारा’ ने अफ़्रीकी महाद्वीप में तेज़ी से अपनी मौजूदगी बढ़ाई है, और वर्ष 2021 की शुरुआत से, माली, बुर्कीना फ़ासो और निजेर में, सैकड़ों लोगों की जान ले ली है.