कोविड-19: प्रदर्शनकारियों से बहुत ऐहतियात बरतने का आग्रह

न्यूयॉर्क के ब्रुकलिन इलाक़े में पुलिस हिन्सा के विरोध में मार्च निकालते प्रदर्शनकारी.
UN News/Daniel Dickinson
न्यूयॉर्क के ब्रुकलिन इलाक़े में पुलिस हिन्सा के विरोध में मार्च निकालते प्रदर्शनकारी.

कोविड-19: प्रदर्शनकारियों से बहुत ऐहतियात बरतने का आग्रह

स्वास्थ्य

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने सचेत किया है कि अमेरिका और अन्य देशों में अपनी आवाज़ बुलन्द करने के लिए सड़क पर उतरने वाले प्रदर्शनकारियों को कोरोनावायरस संक्रमण से बचने या अन्य लोगों को संक्रमित करने से बचाने के लिए हर सावधानी बरतनी होगी. यूएन स्वास्थ्य एजेंसी ने स्पष्ट शब्दों में कहा है कि दुनिया अब भी वैश्विक महामारी की चपेट में है और लापरवाही से संक्रमण की दूसरी लहर उत्पन्न हो सकती है.

स्वास्थ्य संगठन की ओर से यह सन्देश अमेरिका के मिनियापॉलिस शहर में एक काले अफ़्रीकी व्यक्ति जियॉर्ज फ़्लॉयड की मौत के बाद भड़के विरोध-प्रदर्शनों के मद्देनज़र जारी किया गया है. 

जियॉर्ज फ़्लॉयड की गर्दन पर एक श्वेत पुलिस अधिकारी ने कई मिनटों तक घुटना टिकाए रखा था और समझा जाता है कि दम घुटने और हालत बिगड़ने पर बाद में पुलिस हिरासत में ही उनकी मौत हो गई.

चरणबद्ध ढँग से पाबन्दियाँ ख़त्म किए जाने के दौरान कई शहरों में व्यापक स्तर पर प्रदर्शनकारियों के सड़कों पर उतरने से संक्रमणों की दूसरी लहर की आशंका जताई जा रही है. 

यूएन स्वास्थ्य एजेंसी की प्रवक्ता डॉक्टर मार्गरेट हैरिस ने बताया कि जब तक दुनिया में हर जगह यह वायरस ख़त्म नहीं हो जाता तब तक यह संकट समाप्त नहीं होगा. 

“अब तक हम जो बातें कहते आ रहे हैं वे अब भी प्रासंगिक हैं. सर्वश्रेष्ठ सावधानी एक दूसरे से एक मीटर की दूरी बनाकर रखना, अपने हाथ धोना, और यह सुनिश्चित करना है कि मुँह, नाक और आँखों को ना छुआ जाए.”

अमेरिका के दर्जनों शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए हैं. न्यूयॉर्क सिटी में हुए प्रदर्शनों का एक दृश्य.
UN News/ Shirin Yaseen
अमेरिका के दर्जनों शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए हैं. न्यूयॉर्क सिटी में हुए प्रदर्शनों का एक दृश्य.

“हमने इस सप्ताह निश्चित रूप से लोगों में भरपूर जोश देखा है, हमने उन लोगों को देखा है जिन्होंने बाहर जाकर अपनी भावनाएँ प्रदर्शित करने की ज़रूरत महसूस की है, लेकिन हम उन्हें यह ध्यान रखने के लिए कहेंगे कि अपना और दूसरों का अब भी ख़याल रखें, कोरोनावायरस अब भी यहीं हैं.” 

डॉक्टर हैरिस ने जिनीवा में एक वर्चुअल प्रैस वार्ता के दौरान कहा कि अमेरिका क्षेत्र में संक्रमण मामलों की बढ़ोत्तरी की पुष्टि हुई है और एक लाख से ज़्यादा लोगों की मौत हुई है. लातिन अमेरिका में सबसे बड़े देश, ब्राज़ील में पाँच लाख 80 हज़ार से ज़्यादा लोग संक्रमित हुए हैं और 32 हज़ार से ज़्यादा लोग अपनी जान गँवा चुके हैं. 

यूएन एजेंसी प्रवक्ता ने सरकारों से लोगों के तत्काल टेस्ट करने, संक्रमित लोगो के सम्पर्क में आए लोगों का पता लगाने के प्रयास तेज़ करने का आहवान किया है क्योंकि उनके मुताबिक बीमारी को जड़ से उखाड़ फेंकने का यही एक रास्ता है.  

उन्होंने बताया कि विश्व भर में कोरोनावायरस संक्रमण का पता लगाने के लिए हुए टेस्ट दर्शाते हैं कि अभी तक आबादी का छोटा हिस्सा ही संक्रमित हुआ है जिसकी रोकथाम के लिए ना तो अभी कोई वैक्सीन है और ना ही कोई असरदार इलाज.

उन्होंने कहा कि अगर बड़े पैमाने पर सामुदायिक फैलाव से हर किसी का परीक्षण करना मुश्किल लगता है तो फिर लक्षित ढँग से रास्तों की तलाश करनी होगी और उन इलाक़ों को चिन्हित करना होगा जहाँ यह तेज़ी से फैल सकता है. 

उन्होंने स्पष्ट किया कि लोगों को लगातार संक्रमण से बचाव के उपायों के बारे में जानकारी उपलब्ध करानी होगी.

उनके मुताबिक तंग हालात में रहने को मजबूर लोगों के लिए शारीरिक दूरी बनाए रखना मुश्किल हो सकता है.

ऐसे में उन समुदायों के साथ साझीदारी क़ायम करते हुए समाधान तलाश करने होंगे.