वैश्विक परिप्रेक्ष्य मानव कहानियां

दुनिया को 'एक नए शीत युद्ध' से बचना होगा

रूस के सेंट पीटर्सबर्ग में इंटरनेशनल इकॉनॉमिक फ़ॉरम को संबोधित करतेे यूएन महासचिव.
TASS/ UN DPI
रूस के सेंट पीटर्सबर्ग में इंटरनेशनल इकॉनॉमिक फ़ॉरम को संबोधित करतेे यूएन महासचिव.

दुनिया को 'एक नए शीत युद्ध' से बचना होगा

शान्ति और सुरक्षा

एक ऐसी दुनिया में जहां अंतरराष्ट्रीय संबंधों में अराजकता बढ़ रही है, विश्व नेताओं को शीत युद्ध  के रास्ते पर आगे बढ़ने से बचना होगा. रूस के सेंट पीटर्सबर्ग शहर में आयोजित इंटरनेशनल इकॉनॉमिक फ़ॉरम में प्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुटेरेश ने बहुपक्षीय व्यवस्था के ज़रिए आपसी मतभेदों को दूर करने पर बल दिया है.

एक सवाल के जवाब में यूएन प्रमुख ने कहा कि विश्व नेताओं को बुद्धिमता दिखाते हुए ऐसी परिस्थितियों का निर्माण करने की ज़रूरत है जिससे टिकाऊ विकास के 2030 एजेंडा को हासिल कर पाना संभव हो सके.

टिकाऊ विकास लक्ष्य संयुक्त राष्ट्र की एक वैश्विक कार्ययोजना है जिसके ज़रिए ग़रीबी का अंत करने, असमानताओं से लड़ने और जलवायु कार्रवाई जैसे महत्वाकांक्षी लक्ष्यों पर प्रयासों की रूपरेखा तैयार की गई है.

यूएन प्रमुख ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय संबंधों को महज़ चीन और अमेरिका में टकराव के नज़रिए से नहीं देखा जा सकता. उन्होंने बहुध्रुवीय दुनिया को तरजीह देने की बात कही. “यह ज़रूरी है कि अमेरिका, चीन, रूस, भारत, यूरोपीय संघ और कई अन्य साझेदार अपनी मुश्किलों को बहुपक्षीय तरीक़ों से सुलझाएं.”

उन्होंने ध्यान दिलाया कि बीसवीं सदी की शुरुआत में यूरोप में कई देशों में आपसी प्रतिद्वंद्विता थी और बहुपक्षीय व्यवस्था आधारित संगठनों के अभाव में इसका नतीजा पहले विश्व युद्ध के रूप में निकला. इसका मूल कारण आपसी विवादों को सुलटाने के लिए प्रभावी मंचो का उपलब्ध ना होना था.

महासचिव गुटेरेश ने कहा कि बहुध्रुवीय दुनिया में बड़े देशों को प्रासंगिक भूमिकाओं को निभाना होगा जिससे शासन और अंतरराष्ट्रीय संबंधों के लिए अंतरराष्ट्रीय क़ानून पर आधारित बहुपक्षीय शासन को बढ़ावा मिल सके.

जब यूएन प्रमुख से उनके दूसरे कार्यकाल की संभावनाओं पर प्रश्न पूछा गया तो उन्होंने कहा कि महासचिव को एक ईमानदार मध्यस्थ होना चाहिए. इसलिए इस पद को संभालने वाले व्यक्ति को कभी भी ऐसा व्यवहार नहीं करना चाहिए जिससे लगे कि नए कार्यकाल के लिए पक्षपात किया जा रहा है.

“ज़िंदगी भर मेरा रुख़ हमेशा एक जैसा रहा है. जब मैं यहां हूं, मैं यूएन के महासचिव के तौर पर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास करूंगा. मैं यह नहीं सोचता कि भविय्य में क्या होगा. जिस दिन मैंने यह सोचना शुरू कर दिया, उस दिन अपने ही प्रयासों को कमज़ोर करना शुरू कर दूंगा.”